- पीडीपी मुखिया महबूबा मुफ्ती ने एक बार फिर केंद्र सरकार पर साधा निशाना
- केंद्र सरकार को घेरते घेरते महबूबा मुफ्ती के बिगड़े बोल
- सुधरने और जागने की तकरीर की, ऐसा ना होने पर अफगानिस्तान के हालात का दिया हवाला
कश्मीर, एक ऐसी रियासत है जो दुनिया में कहीं नहीं है, यहाँ के लोग बुज़दिल नहीं हैं , हिम्मतवाले हैं, सब्र के लिए ज़्यादा हिम्मत चाहिए, बन्दूक उठाने के लिए हिम्मत नहीं चाहिए, यहाँ के लोग बर्दाश्त कर रहे हैं और जिस वक़्त ये बर्दाश्त का बाँध टूट जायेगा , तब आप भी नहीं रहोगे मिट जाओगे, हमारा इम्तेहान मत लो , संभल जाओ। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार को वाजपेयी के सिद्धांत पर लौटने की जरूरत है।
महबूबा के निशाने पर केंद्र सरकार
पड़ोस में देखो क्या हो रहा है , इतनी बड़ी ताकत अमेरिका उनको भी वहां से बोरिया बिस्तर लेकर वापस जाना पड़ा, आपके पास मौका है जैसे वाजपेयी जी ने बात चीत शुरू किया था वैसे आप भी बात चीत शुरू करो , और जो आपने लुटा है गैर कानूनी तरीके से , जो अपने टुकड़े टुकड़े किये इस गलती को सुधारो नहीं तो बहुत देर हो जाएगी। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार को लोगों को भावनाओं को समझने की जरूरत है।
तो जम्मू-कश्मीर भारत का हिस्सा नहीं होता
महबूबा मुफ्ती ने कहा कि 1947 में तत्कालीन पीएम जवाहर लाल नेहरू ने जम्मू कश्मीर के नेतृत्व से वादा किया था कि लोगों की पहचान की हर तरह से रक्षा की जाएगी और विशेष राज्य का दर्जा मिलेगा। आजादी के वक्त भाजपा सरकार में होती तो जम्मू कश्मीर भारत का हिस्सा नहीं होता। बीजेपी ने समझदारी भरा कदम नहीं उठाया तो भारत सांप्रदायिक और धार्मिक आधार पर टुकड़ों में बंट जाएगा। बीजेपी कश्मीर में स्वतंत्र आवाज को दबाने के लिए एजेंसियों का बेजा इस्तेमाल कर रही है।