- अलग-अलग युवतियों संग आपत्तिजनक फोटोज वायरल
- सीएम पोर्टल पर शिकायत के बाद शुरू हुई मामले की जांच
- पांडेय ने भी पुलिस कमिश्नर लखनऊ को पत्र लिखकर जांच की मांग की
Anandeshwar Pandey Viral Photos: उत्तर प्रदेश ओलंपिक संघ के सचिव आनंदेश्वर पांडेय की कई आपत्तिजनक तस्वीरें सोशल मीडिया पर वायरल हुई हैं। अलग-अलग युवतियों संग ली गई ये सभी फोटो इतनी आपत्तिजनक है कि, इन्हें दिखाया तक नहीं जा सकता है। इन फोटों के वायरल होने के बाद आनंदेश्वर पांडेय का करियर भी दांव पर लग गया है। सीएम पोर्टल पर इस मामले की शिकायत दर्ज होने के बाद केडी सिंह बाबू स्टेडियम लखनऊ के क्षेत्रीय खेल अधिकारी ने आख्या मांगी है। वहीं, दूसरी तरफ पांडेय ने इस पूरे विवाद को उनकी छवि खराब करने का षड्यंत्र बताते हुए पुलिस कमिश्नर लखनऊ को पत्र लिखकर जांच कर कार्रवाई करने की मांग की है।
बता दें कि, आनंदेश्वर पांडेय की एक-दो नहीं बल्कि कई फोटो वायरल हुए हैं और सभी अलग-अलग लड़कियों और महिलाओं के साथ हैं। दावा किया जा रहा है कि, ये सभी फोटो आनंदेश्वर पांडेय के रासलीला के हैं। ज्यादातर फोटो में कथित तौर पर आनंदेश्वर पांडेय और युवतियां बिना कपड़ों के दिखाई दे रही हैं। इस मामले की जांच को लेकर कार्यालय क्षेत्रीय क्रीड़ा अधिकारी केडी सिंह बाबू स्टेडियम ने जिला अधिकारी को पत्र भी लिखा है। जिसमें कहा गया है कि, विकास यादव नाम के व्यक्ति द्वारा अवगत कराया गया है कि केडी सिंह बाबू स्टेडियम लखनऊ में निवास कर रहे यूपी ओलंपिक संघ के सचिव आनंदेश्वर पांडेय आपत्तिजनक कार्यों में संलिप्त हैं। इससे राज्य और देश दोनों की छवि खराब हो रही है। उनका निवास गर्ल्स हॉस्टल के बगल में है। इसलिए मामले की जांच की जाए।
पांडेय बोले- चुनाव के लिए की जा रही छवि धूमिल
वहीं, आनंदेश्वर पांडेय ने इसे षडयंत्र बताते हुए आईओए के कुछ पदाधिकारियों पर ही छवि धूमिल करने का भी आरोप लगाया। पांडेय ने दावा किया कि, कुछ समय बाद भारतीय ओलंपिक संघ का चुनाव होने वाला है, जिसमें वे भी भाग लेने वाले हैं, लेकिन संघ के कुछ पूर्व व मौजूदा पदाधिकारियों यह नहीं चाहते, इसलिए उन्हें बदनाम कर उनकी छवि धूमिल करने की साजिश रची जा रही है। उन्होंने कहा कि इस संबंध में वे लखनऊ पुलिस कमिश्नर के पास शिकायत कर चुके हैं। बता दें कि आनंदेश्वर पांडेय लंबी दूरी के राष्ट्रीय धावक और हैंडबॉल खिलाड़ी रह चुके हैं। यूपी सरकार ने इन्हें 2016 में यश भारती पुरस्कार से नवाजा था।