लखनऊ : राजधानी लखनऊ में कोरोना वायरस के संक्रमण पर रोक लगाने के लिए प्रशासन ने कदम उठाने शुरू कर दिए हैं। अमीनाबाद मार्केट 15 अप्रैल से 21 अप्रैल तक के लिए बंद किया गया है जबकि हजरतगंज व्यापार संघ ने स्वैच्छिक रूप से 15 से 18 अप्रैल के बीच बाजार बंद रखने का फैसला किया है। इस बीच, गुजरात से 25,000 रेमडेसिविर इंजेक्शन की खेप अहमदाबाद से बुधवार को लखनऊ पहुंची। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गुजरात से इस इंजेक्शन की आपूर्ति करने की मांग की थी।
महाराष्ट्र के बाद यूपी में सबसे ज्यादा आ रहे केस
महाराष्ट्र के बाद उत्तर प्रदेश में रोजाना कोरोना संक्रमण के सबसे ज्यादा मामले सामने आ रहे हैं। खासकर लखनऊ की स्थिति काफी चिंताजनक हो गई है। शहर में करोना मरीजों के लिए अस्पतालों में बेड्स कम पड़ने लगे हैं। राज्य में कोरोना की मौजूदा लहर बड़ी संख्या में लोगों को अपनी चपेट में ले रही है। बुधवार को राज्य में कोरोना के 20,510 नए केस मिले। सरकार के आंकड़ों के मुताबिक बीते 24 घंटे में इस महामारी से 85 लोगों ने दम तोड़ा। हालांकि, सरकार मृतकों के जो आंकड़े दे रही है उस पर सवाल उठ रहे हैं। लोगों का कहना है कि सरकारी आंकड़े की तुलना में इस महामारी से ज्यादा संख्या में लोगों की मौत हो रही है। मंगलवार को राज्य में 18,000 मामले मिले।
राज्य में कोरोना के एक्टिव केस बढ़कर 111,835 हो गए हैं। राजधानी लखनऊ में एक्टिव केस की संख्या 31,687 है जो कि राज्य में सर्वाधिक है। पिछले 24 घंटे में लखनऊ में संक्रमण के 5,433 नए मामले मिलेष
सीएम योगी हुए हैं पॉजिटिव
बुधवार को मुख्यमंत्री आदित्यनाथ ने जानकारी दी कि वह कोरोना से संक्रमित हो गए हैं। पॉजिटिव हो जाने के बाद उन्होंने खुद को आइसोलेशन में रखा है। सीएम का कहना है कि वह सभी कार्य वर्चुअली संपादित कर रहे हैं। हाल के दिनों में मुख्यमंत्री ने पश्चिम बंगाल में कई चुनावी रैलियों को संबोधित किया। सीएम का कहना है कि इस महामारी से निपटने के लिए सरकार सभी एहतियाती कदम उठा रहा है और उन्हें उम्मीद है कि कोरोना के मामलों में कमी आएगी।
हाई कोर्ट ने चिंता जाहिर की
राज्य में कोरोना केस में हो रही रिकॉर्ड वृद्धि पर इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने भी चिंता जाहिर की है। कोर्ट ने उत्तर प्रदेश सरकार से उन जिलों में जहां कोरोना के मामलों में तेजी आई है, दो-से तीन सप्ताह का पूर्ण लॉकडाउन लगाने का सुझाव दिया है। कोर्ट ने कहा है कि 'हमें पता है कि कई सप्ताह का पूर्ण रूप से लॉकडाउन व्यावहारिक नहीं हो सकता है लेकिन महामारी की मौजूदा स्थिति को देखते हुए हम सरकार से कहना चाहते हैं कि वह उन जिलों में दो अथवा तीन सप्ताह का पूर्ण लॉकडाउन लगाए जहां कोरोना के मामलों में बेतहाशा वृद्धि पाई गई है।'