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Ranchi Urban Haat News : दिल्ली की तरह अब रांची में भी बनेगा अर्बन हाट, जानें किसको मिलेगा फायदा

Updated Apr 27, 2022 | 19:46 IST

Ranchi News: रांची में अर्बन हाट का सपना जल्द पूरा होगा। इसका निर्माण कार्य फिर शुरू होने वाला है। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन खुद इस प्रोजेक्ट की प्रगति रिपोर्ट देख रहे हैं। इसके निर्माण से क्षेत्रीय हस्तकला समेत अलग-अलग कारीगरों को रोजगार मिलेगा।

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तस्वीर साभार:&nbspTwitter
रांची में होगा अर्बन हाट का आयोजन (प्रतीकात्मक तस्वीर)
मुख्य बातें
  • रांची में अधूरे अर्बन हाट का निर्माण कार्य फिर से होगा शुरू।
  • निर्माण कार्य पूरा करवाने पर खर्च किए जाएंगे 10 करोड़ रुपए।
  • पूर्व में 11 करोड़ के खर्च से आधा निर्माण कार्य पूरा हो चुका है।

Ranchi News: रांची में अब फिर से अर्बन हाट बनाने को लेकर तैयारियां जोरों पर हैं। राजधानी दिल्ली की तर्ज पर यहां अर्बन हाट का पुर्ननिर्माण किया जाना है। पिछले पांच साल से कांके डैम के पास अधूरे पड़े अर्बन हाट का निर्माण अब पूरा कराया जाएगा। इसको लेकर मंगलवार को मुख्यमंत्री की उपस्थिति में अर्बन हाट के री-कंस्ट्रक्शन मास्टर प्लान का पीपीटी प्रेजेंटेशन प्रस्तुत किया गया। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि यहां अर्बन हाट बिल्कुल राजधानी दिल्ली की तर्ज पर बनवाया जाएगा। 

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने अर्बन हाट तैयार हो जाने के बाद सूबे के क्षेत्रीय हस्तकला समेत अलग-अलग कारीगरों को अधिक से अधिक रोजगार सुनिश्चित करने का निर्देश दिया। बता दें मुख्यमंत्री रघुवर दास ने 30 अगस्त 2016 को अर्बन हाट का निर्माण कार्य बंद करवाया था। तब तक इसके निर्माण पर 10 करोड़ रुपए खर्च हो चुके थे। 

अब 11 करोड़ और खर्च कर बनवाया जाएगा हाट

अधूरे बने इस अर्बन हाट के निर्माण पर अब 11 करोड़ रुपए और खर्च किए जाएंगे। पूर्व में 10 करोड़ रुपए खर्च हो चुके हैं। इस हिसाब से इस हाट के निर्माण पर कुल 21 करोड़ रुपए खर्च हो जाएंगे। जिसके पश्चात ये हाट रांची के लोगों के लिए रोजगार का अड्डा बनकर उभरेगा।

क्या है अर्बन हाट

दरअसल, यह भारत सरकार के कपड़ा मंत्रालय की ओर से की गई एक पहल है। इंफ्रास्ट्रक्चर एंड टेक्नोलॉजी सपोर्ट योजना के तहत यह योजना आती है। इसका उद्देश्य है कि हस्तशिल्प कारीगरों या हथकरघा बुनकरों को सीधे विपणन की सुविधा देने के लिए बड़े कस्बों या महानगरों में स्थाई विपणन बुनियादी ढांचा बनाया जाए। योजना को राज्य हस्तशिल्प, हथकरघा विकास निगम, पर्यटन विकास निगम या शहरी स्थानीय निकायों के जरिए पर्याप्त वित्तीय संसाधन और संगठनात्मक क्षमता के साथ क्रियान्वित कराया जाता है। बता दें अर्बन हाट के लिए वित्तीय सत्र में हर इकाई के लिए 300 लाख रुपए स्वीकृत होते हैं। मंजूर राशि का 80 प्रतिशत हस्तशिल्प विभाग के विकास आयुक्त द्वारा वहन किया जाता है। जबकि शेष 20 प्रतिशत कार्यान्वयन एजेंसी द्वारा दिया जाता है।