- भारतीय मिश्रित रिले टीम का सिल्वर मेडल अब गोल्ड में बदला
- 2018 एशियाई खेलों में बहरीन से हारकर सिल्वर मेडलिस्ट बनी थी भारतीय टीम
- बहरीन का सदस्य डोपिंग टेस्ट में फेल हुआ, जिससे भारत का सिल्वर मेडल गोल्ड में बदल गया
नई दिल्ली: भारत की मिश्रित रिले टीम ने 2018 एशियाई खेलों की 4X400 मीटर स्पर्धा रेस में सिल्वर मेडल जीता था, जो अब गोल्ड मेडल में बदल गया है। एशियाई खेलों में भारतीय मिश्रित रिले टीम दूसरे स्थान पर आई थी। तब बहरीन की टीम ने रिले रेस में गोल्ड मेडल जीता था। हालांकि, बहरीन का एक सदस्य डोपिंग प्रतिबंधित होने के कारण अयोग्य घोषित कर दिया गया। बहरीन ने 4X400 मिश्रित रिले फाइनल में शीर्ष स्थान हासिल किया था, लेकिन उसकी सदस्य केमी एडेकोया को एथलेटिक्स इंटीग्रीटी यूनिट (एआईयू) ने डोप परीक्षण में फेल होने के बाद चार साल के लिए प्रतिबंधित कर दिया।
एडेकोया के नतीजों को हटाने के बाद एआईयू ने महिलाओं की 400 मीटर बाधा दौड़ में अनु राघवन का चौथा स्थान अपग्रेड किया। अब राघवन को कांस्य मेडल मिलेगा। एडेकोया महिलाओं की 400 मीटर बाधा दौड़ स्पर्धा की भी चैंपियन बनी थीं। बता दें कि 2018 एशियाई खेलों में भारत की मिश्रित रिले टीम का प्रतिनिधित्व मोहम्मद अनस, एमआर पूवम्मा, हिमा दास और अरोकिया राजीव ने किया था।
भारतीय मिश्रित रिले टीम ने 3:15:71 का समय निकालते हुए सिल्वर मेडल जीता था। बहरीन ने 3:11:89 के समय में रेस पूरी करते हुए खिताब जीता था। वहीं अनु राघवन जकार्ता में हुई अंतिम रेस में 56.92 मिनट के साथ चौथे स्थान पर थीं।
भारतीय मिश्रित रिले टीम और अनु राघवन की सफलता पर भारतीय एथलेटिक्स महासंघ ने खुशी जताई। एएफआई अध्यक्ष आदिल सुमरिवाला ने कहा कि एएफआई विश्व एथलेटिक्स वेबसाइट की रैंकिंग में बदलाव देखकर खुश है। उन्होंने कहा, '2018 एशियाई खेल में हमारे मेडल की संख्या अब बढ़कर 20 हो गई है, जिसमें 8 गोल्ड और 9 सिल्वर मेडल हैं। यह खबर हमारे लिए अच्छी है क्योंकि हम एशियाई खेलों के प्रदर्शन से अगले साल टोक्यो में ओलंपिक खेलों में विश्व स्तर पर अपनी छाप छोड़ने का लक्ष्य बनाए हुए हैं।'
सुमरिवाला ने आगे कहा कि 4X400 मीटर रिले टीम काफी खुश है क्योंकि उसके पास जकार्ता से अब दो गोल्ड जबकि एक सिल्वर मेडल हो गया है।