वाशिंगटन : अमेरिकी स्पेस एजेंसी NASA के स्पेसक्राफ्ट Osiris-Rex ने अंतरिक्ष में ऐस्टरॉइड Bennu को सफलतापूर्वक छूते हुए सैंपल एकत्र किया है। इसके साथ ही अमेरिका ऐस्टरॉइड से सैंपल लेने वाला जापान के बाद दूसरा देश बन गया है। अब यह अगले सप्ताह पता चल सकेगा कि इस टचडाउन के दौरान नासा के स्पेसक्राफ्ट ऐस्टरॉइड बेनू से कितना सैंपल हासिल किया है।
नासा के स्पेसक्राफ्ट द्वारा ऐस्टरॉइड बेनू के टचडाउन की इस घटना को ऐतिहासिक 'मुलाकात' के तौर पर बताया जा रहा है। नासा के स्पेसक्राफ्ट द्वारा बेनू से एकत्र किए गए सैंपल के आधार पर ही यह पता चल सकेगा कि अभी एक और टचडाउन की जरूरत है या नहीं। यूनिवर्सिटी ऑफ ऐरिजोना की लीड साइंटिस्ट डान्टे लॉरेटा ने इस सफलता पर खुशी जताते हुए कहा कि स्पेसक्राफ्ट ने हर वह चीज की जो उसे करनी थी।
वैज्ञानिकों में खुशी
नासा के स्पेसक्राफ्ट Osiris-Rex ने ऐस्टरॉइड Bennu पर टचडाउन की पुष्टि 20 करोड़ मील दूर से की जिसके बाद इस मिशन से जुड़े वैज्ञानिकों में खुशी की लहर दौड़ पड़ी। नासा के इस स्पेसक्राफ्ट को पहले ही ग्राउंड कंट्रोल ने कमांड दे दी थी, जिससे वह करीब 4.5 घंटे में अपनी कक्षा से Bennu की सतह पर पहुंचा। यह पिछले दो साल से बेनू का चक्कर काट रहा है और स्पेस रॉक्स के मूवमेंट को ऑब्जर्व कर रहा है।
स्पेसक्राफ्ट Nightingale नाम के क्रेटर पर गोल-गोल चक्कर काटते हुए उतरा, जहां इसके उतरने के लिए सिर्फ 8 मीटर चौड़ा एक क्षेत्र था। इस जगह को सैंपल के लिहाज से बेहद अहम बताया जा रहा है। वैज्ञानिक तथ्यों के अनुसार, यहां महीन धूल, कंकड़-पत्थर हैं जो ज्यादा वक्त के लिए आसपास के पर्यावरण के संपर्क में नहीं आए हैं। नासा का स्पेसक्राफ्ट वर्ष 2023 में लौटेगा।