- बेंगलुरु में टाउन हॉल पर सीएए विरोध में भारी संख्या में लोग जुटे थे।
- टाउन हॉल छोड़ने के लिए लोग तैयार नहीं थे, बेंगलुरु सेंट्रल के डीसीपी ने अपनाया नायाब तरीका
- प्रदर्शनकारियों से वादा लेकर राष्ट्रगान गाया और लोगों ने साथ भी दिया
नई दिल्ली। एक कहावत है कि अगर आप के सामने कोई भी शख्स गुस्से में हो तो उसका प्रतिवाद मत कीजिए। बेहतर यह होता है कि मनुहार करने से वो शख्स मान जाता है और माहौल खुशगवार हो जाता है। इन दिनों नागरिकता संशोधन कानून पर फैली अफवाह की आग से देश का हर कोना झुलस रहा है। लोग सड़कों पर हैं, विरोध कर रहे हैं लेकिन ज्यादातर लोगों को सीएए के बारे में जानकारी नहीं है, और जिन्हें जानकारी है उनकी व्याख्या यह है कि देश का संविधान खतरे में है। इन्ही खतरों के बीच बेंगलुरु के टाउन हाल पर लोग इकट्ठा हुए तकरीरें कीं। लेकिन एक निश्चित समय के बाद लोग वहां जमा रहे तो बेंगलुरु सेंट्रल के डीसीपी चेतन सिंह राठौड़ मे अनोखा तरीका अपनाया।
डीसीपी चेतन सिंह राठौड़ प्रदर्शनकारियों से टाउन हाल खाली करने की अपील कर रहे थे। प्रदर्शकारी उनकी अपील की अनसूनी कर रहे थे। एकाएक उन्होंने कहा कि अगर वो कुछ कहेंगे तो आप लोग मानेंगे। यह पूछ कर सबसे वादा कराया और कहा कि वो गाना चाहते हैं क्या आप लोग साथ देंगे। मौके पर मौजूद सभी प्रदर्शनकारियों ने कहा कि निश्चित तौर पर। इस अपील के बाद डीसीपी साहब ने राष्टगान जन गण मन गाना शुरू किया। फिर क्या सभी लोग अपनी अपनी जगहों पर खड़े हुए और राष्ट्रगान में शरीक हुए। इसके साथ ही शांतिपूर्ण तरीके से टाउन हाल को खाली कर दिया।
डीसीपी साहब की यह पहल सुर्खियों में है, जहां एक तरफ से प्रदर्शनकारियों के साथ झड़प में पुलिसवालों को चोट आई है, वहीं डीसीपी चेतन सिंह राठौड़ के इस कदम की लोग तारीफ कर रहे हैं कि इस तरह से भी आंदोलनकारियों को समझाया जा सकता है। बता दें कि कर्नाटक के मेंगलुरु में ही प्रदर्शनकारियों के साथ झड़प में दो लोगों की मौत हो गई जिसके बाद 22 दिसंबर तक कर्फ्यू लगा दिया गया है।