लाइव टीवी

Good Friday: यीशु मसीह से जुड़ा कभी न भूलने वाला दिन, जानें क्यों मनाया जाता है गुड फ्राइडे

Good Friday 2020
Updated Apr 10, 2020 | 07:26 IST

Good Friday 2020: गुड फ्राइडे की कहानी ईसा मसीह को सूली पर चढ़ाने की घटना से जुड़ी हुई है। इस दिन ईसाई धर्म के कुछ वर्ग उपवास रखते हैं।

Loading ...
Good Friday 2020Good Friday 2020
गुड फ्राइडे
मुख्य बातें
  • यीशु मसीह के साथ हुई थी हिंसा, कंधे पर सूली रखकर ले जाया गया था
  • मसीह को सूली पर चढ़ाने की घटना याद दिलाता है 'गुड फ्राइडे'
  • कई ईसाई वर्ग रखते हैं उपवास, चर्च जाकर देते हैं सेवा

नई दिल्ली: गुड फ्राइडे यीशु मसीह को सूली पर चढ़ाए जाने की याद दिलाने वाला दिन है। यह ईस्टर से पहले पड़ने वाले शुक्रवार को मनाया जाता है। इस साल यह दिन 10 अप्रैल को पड़ रहा है। इस दिन को ब्लैक फ्राइडे, ग्रेट फ्राइडे, ईस्टर फ्राइडे या होली फ्राइडे जैसे अन्य नामों से भी जाना जाता है। ईसाई समुदाय के कुछ वर्ग इस दिन उपवास करते हैं और चर्च जाते हैं। कई लोग विशेष रूप से दिन में चर्च सेवा में भाग लेते हैं।

ईसाइयों की पवित्र पुस्तक बाइबिल में गुड फ्राइडे शब्द का कोई उल्लेख नहीं है, लेकिन अन्य धार्मिक ग्रंथों में जो बातें दर्ज हैं, उनके आधार पर यह माना जाता है कि यीशु मसीह को कुछ यहूदी लोगों ने धोखा दिया था और अंततः उन्हें क्रूस पर चढ़ दिया गया।

रोमन सैनिकों ने मसीह के साथ हिंसा की और उनके कंधे पर क्रूस रखकर उन्हें अपने साथ ले गए। इसी क्रूस पर उन्हें सूली पर चढ़ा दिया गया। सूली पर चढ़ाने का दिन शुक्रवार माना जाता है, जबकि मान्यताओं के अनुसार जिस दिन वह मरकर पुनर्जीवित हुए उसे रविवार कहा जाता है, जिसे ईस्टर के रूप में भी मनाया जाता है।

कई लोगों का यह सवाल भी हो सकता है कि जिस दिन यीशु मसीह के साथ इतनी हिंसा हुई उसे 'गुड फ्राइडे' क्यों कहा जाता है। अगर ईसाई धर्म से जुड़े धार्मिक लोगों की मानें तो इस दिन से जुड़े 'गुड' शब्द का वास्तव में मतलब 'पवित्र' है।