- भारत को राफेल मिलते ही सकते में आया पाकिस्तान
- पाकिस्तान ने वैैश्विक समुदाय से लगाई गुहार, कहा- हथियारों की दौड़ पर लगे रोक
- भारत लगातार आवश्यकताओं से परे अपनी हथियारों की क्षमता को बढ़ा रहा है- पाकिस्तान
इस्लामाबाद: भारत का पिछले करीब दो दशक में नए अत्याधुनिक नए लड़ाकू विमानों का इंतजार बुधवार को उस समय खत्म हो गया है जब पांच राफेल फायटर जेट्स की पहली खेप भारत पहुंची। शानदार क्षमता रिकॉर्ड वाले राफेल लड़ाकू विमानों को दुनिया के सर्वाधिक शक्तिशाली लड़ाकू विमानों में से एक माना जाता है। राफेल के भारत पहुंचते ही पड़ोसी परेशान ना हों ऐसा हो नहीं सकता है। अब भारत को राफेल मिलने के बाद पाकिस्तान खौफ में आ गया है। खुद पाकिस्तानी विदेश मंत्रालय ने राफेल को लेकर चिंता जताई है और वैश्विक समुदाय से गुहार लगाई है।
भारत को हथियारों की दौड़ से दूर रखे वैश्विक समुदाय- पाकिस्तान
पाकिस्तानी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता आइशा फारूकी ने गुरुवार को एक बयान जारी करते हुए कहा, 'पाकिस्तान ने विश्व समुदाय से अपील की है कि वह भारत से हथियारों की प्रतिस्पर्धा को रोकने को कहे। राफेल जेट विमानों से दक्षिण एशिया में हथियारों की दौड़ हो सकती है। भारत अपनी वास्तविक सुरक्षा आवश्यकता से परे सैन्य क्षमताओं लगातार बढ़ा रहा है जो खतरा है। विश्व समुदाय भारत को हथियारों की दौड़ से दूर रखे।'
चितिंत हुआ पाकिस्तान
विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता ने कहा कि पाकिस्तान हमेशा से ही भारत द्वारा बड़े पैमाने पर हथियारों के निर्माण के साथ-साथ उनके आक्रामक सुरक्षा सिद्धांत को लेकर चिंता जाहिर की है जो दक्षिण एशिया में रणनीतिक स्थिरता पर प्रतिकूल प्रभाव डाल रहे हैं। आईशा फारूकी ने आगे कहा कि इस हथियारों की होड़ को संकीर्ण वाणिज्यिक हितों के लिए बढ़ावा दिया जा रहा है।
सरकार ने जारी किया ये बयान
इससे पहले सरकार ने सोमवार को एक बयान जारी करते हुए कहा कि भारत को 10 राफेल विमानों की आपूर्ति हुई है, जिनमें से पांच प्रशिक्षण मिशन के लिए फ्रांस में ही रुक रहे हैं। सरकार ने कहा कि खरीदे गए सभी 36 राफेल विमानों की आपूर्ति 2021 के अंत तक भारत को हो जाएगी। राफेल विमानों को आसमान में उनकी बेहतरीन क्षमता और लक्ष्य पर सटीक निशाना साधने के लिए जाना जाता है। करीब 23 साल पहले रूस से सुखोई विमानों की खरीद के बाद भारत ने पहली बार लड़ाकू विमानों की इतनी बड़ी खेप खरीदी है।