- यूक्रेन में फंसे लोगों के लिए भारत सरकार ने चलाया है ऑपरेशन गंगा
- अभी तक इस ऑपरेशन के तहत 17 हजार से अधिक भारतीय लौट चुके हैं स्वदेश, विदेशी नागरिकों को भी मदद कर रहा है भारत
- पाकिस्तानी छात्रा को भी भारत ने सुरक्षित यूक्रेन से बाहर निकाला
कीव: रूस और यूक्रेन के बीच पिछले 14 दिनों से युद्ध जारी है। युद्ध के इस हालात में फंसे भारतीयों को सुरक्षित वापस लाने के लिए सरकार ने 'ऑपरेशन गंगा' चलाया जिसके तहत यूक्रेन में फंसे अधिकांश भारतीयों को निकाल रलिया गया है। इस ऑपरेशन के जरिए सरकार ने केवल भारतीय नागरिकों को ही सुरक्षित नहीं निकाल बल्कि नेपाल, बांग्लादेश और पाकिस्तान जैसे नागरिकों की भी मदद की। विदेशी नागरिक भी अब सरकार की जमकर तारीफ कर रहे हैं।
पाकिस्तान छात्रा को निकाला सुरक्षित
ऐसी ही एक छात्रा है आसमा शफीक जो पड़ोसी मुल्क पाकिस्तान की रहने वाली हैं। भारत सरकार ने आसमा शफीक को युद्धग्रस्त इलाके से निकालकर सुरक्षित स्वदेश भेजा है। सरकार के इस कदम की आसमा ने जमकर तारीफ की है। आसमा ने कहा, 'मेरा नाम आसमा शफीक है। मैं कीव में स्थित भारतीय दूतावास की शुक्रगुजार हूं कि उन्होंने हमें हरसंभव मदद की। हम यहां बहुत कठिन परिस्थिति में फंस गए थे। मैं भारत के प्रधानमंत्री की भी शुक्रगुजार हूं कि उनकी बदौलत हम यहां से निकल पाए, मदद करने के लिए लिए आपका धन्यवाद। भारतीय दूतावास की बदौलत हम घर सुरक्षित जा रहे हैं। थैंक्यू।'
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17 हजार से अधिक छात्र आ चुके हैं वापस
आपको बता दें कि भारत सरकार अभी तक ऑपरेशन गंगा के तहत 17 हजार से अधिक छात्रों को स्वदेश ला चुकी है। विदेश मंत्रालय ने मंगलवार को बताया कि युद्धग्रस्त यूक्रेन के सूमी शहर से सभी भारतीय छात्रों को निकाल लिया गया है और ‘ऑपरेशन गंगा’ अभियान के तहत उड़ानों से उन्हें भारत वापस लाया जायेगा। इस बीच, यूक्रेन में भारतीय राजदूत पार्थ सत्पथी ने लवीव के मेयर एंड्री सदोवी और साथ ही शहर के गवर्नर मैक्सिम कोजित्स्की से मुलाकात की और भारतीयों को निकालने के मुद्दे पर चर्चा की।
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