नई दिल्ली : उत्तर प्रदेश में बढ़ते धर्म परिवर्तन के मामलों को देखते हुए योगी सरकार हरकत में आ गई है। राज्य में 'लव जिहाद' के नाम पर धर्म परिवर्तन के बढ़ते मामलों पर रोक लगाने के लिए सरकार आने वाले दिनों में अध्यादेश ला सकती है। प्रदेश के विधि विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि 'अध्यादेश लाए जाने की प्रक्रिया चल रही है और दूसरे राज्यों के धर्म परिवर्तन के खिलाफ कानूनों का अध्ययन और उन पर चर्चा की जा रही है। इसके बाद राज्य का धर्म परिवर्तन के खिलाफ अपना एक कानून होगा।'
धर्म परिवर्तन के खिलाफ आठ राज्यों में हैं कानून
विधि विभाग के एक सूत्र ने कहा, 'अभी आठ राज्यों में अरुणाचल प्रदेश, ओडिशा, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, गुजरात, हिमाचल प्रदेश, झारखंड और उत्तराखंड में धर्म परिवर्तन के खिलाफ कानून हैं। 1967 में धर्म परिवर्तन के खिलाफ कानून बनाने वाले ओडिशा पहला राज्य था। इसके बाद मध्य प्रदेश में 1968 में कानून बना। अब उत्तर प्रदेश इस तरह का कानून रखने वाला नौवा राज्य बन सकता है।'
यूपी में लव जिहाद के मामलों में आई तेजी
सूत्र का कहना है कि राज्य में हाल के दिनों में 'लव जिहाद' के कई मामले सामने आए हैं। उन्होंने कहा, 'केवल कानपुर जिले में ही इस तरह के आठ मामलों की जांच चल रही है। हाल ही में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) प्रमुख मोहन भागवत ने दो दिनों के दौरे पर लखनऊ आए थे। अपनी इस यात्रा के दौरान उन्होंने धर्म परिवर्तन का मुद्दा उठाया था।'
विभिन्न राज्यों के धर्म परिवर्तन कानून किसी व्यक्ति को दूसरे व्यक्ति का धर्म परिवर्तन करने, प्रत्यक्ष अथवा अप्रत्यक्ष रूप से लालच देकर या किसी भी तरह से व्यक्ति का धर्म बदलने से रोकते हैं। उत्तर प्रदेश का कानून भी इसी तरह का होगा जो धर्म परिवर्तन को काफी जटिल एवं सख्त प्रक्रिया बना देगा।
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