सुशांत सिंह राजपूत मौत मामले ( SSR Death Case) में ड्रग्स कनेक्शन को लेकर नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो(NCB) ने धर्मा प्रोडक्शन के पूर्व कार्यकारी निर्माता क्षितिज रवि प्रसाद (Kshitij Ravi Prasad) से पूछताछ की और उन्हें हिरासत में ले लिया था। फिलहाल क्षितिज रवि प्रसाद को 6 अक्तूबर तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है। फिल्म निर्माता क्षितिज प्रसाद ने शनिवार को विशेष एनडीपीएस अदालत को बताया कि उन्हें मामले में रणबीर कपूर, अर्जुन रामपाल, और डिनो मोरिया को गलत तरीके से फंसाने के लिए मजबूर किया जा रहा है। मुंबई मिरर में एक रिपोर्ट में धर्मा प्रोडक्शन के पूर्व कर्मचारी के हवाले से बताया गया है कि उन्हें नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) ने परेशान किया है और गलत बयान देने के लिए मजबूर किया है।
क्षितिज रवि प्रसाद का कहना है कि एनसीबी के अधिकारी करण जौहर को गलत तरीके से फंसाने के लिए लगातार उन्हें धमका रहे थे और उनके साथ जबरदस्ती कर रहे थे। प्रसाद ने कहा कि उन्हें बार-बार एजेंसी द्वारा रणबीर, डिनो, अर्जुन और धर्मा प्रोडक्शंस के कुछ कर्मचारियों को जांच में घसीटने की धमकी दी गई। फिल्म निर्माता ने यह भी आरोप लगाया है कि एजेंसी अपने दम पर कई फर्जी बयान तैयार कर रही है और उस पर हस्ताक्षर करने के लिए कह रही है, जिसे उन्होंने मानसिक और भावनात्मक रूप से बार-बार परेशान करने के बावजूद मना किया है।
अपने स्टेटमेंट में क्षितिज रवि प्रसाद कहा, 'मेरे बयान को रिकॉर्ड करते हुए NCB लगातार मुझे धमकियां दे रहा है और करण जौहर, धर्मा प्रोडक्शंस के अन्य अधिकारियों के खिलाफ बयान देने के लिए मजबूर कर रहा है। अगर मैं ऐसा नहीं करता हूं तो वो मेरी पत्नी और परिवार के अन्य सदस्यों पर झूठे आरोप लगाएंगे।'
मानशिंदे के एनसीबी पर गंभीर आरोप
क्षितिज का पक्ष रखने वाले वकील मानशिंदे का कहना है कि उनके मुवक्किल को एनसीबी द्वारा 'प्रताड़ित और ब्लैकमेल' किया जा रहा है। क्षितिज को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए मजिस्ट्रेट के समक्ष पेश किया गया था। उन्होंने अदालत से प्रसाद की न्यायिक हिरासत के लिए अनुरोध किया था और न्यायाधीश ने इसे मंजूर कर लिया। जब न्यायाधीश ने प्रसाद से पूछा कि क्या उन्हें कोई शिकायत है, तो उन्होंने अपना बयान दिया। न्यायाधीश ने एनसीबी द्वारा दर्ज किए गए बयानों का खंडन किया और संबंधित अधिकारियों को उपस्थित रहने का निर्देश दिया, लेकिन एनसीबी पक्ष के अधिकारी को COVID के लक्षणों की वजह से अस्पताल में भर्ती कराया गया था। अदालत को दिए अपने बयान में, प्रसाद ने आरोप लगाया कि NCB द्वारा दर्ज किया गया बयान अनैच्छिक है और इसमें कुछ चीजें शामिल हैं जिन्हें बिना सहमति के अधिकारियों द्वारा एकतरफा शामिल किया गया है। वे पूरी तरह से झूठ हैं।
NCB का कहना है कि प्रसाद बनाते हैं कहानियां
एनसीबी ने प्रसाद को परेशान करने और मानसिक रूप से प्रताड़ित करने के सभी आरोपों से इनकार किया है। एनसीबी के डिप्टी डायरेक्टर जनरल ने अपने बयान में कहा कि एजेंसी बयान और जांच का विवरण शेयर नहीं कर सकती है, लेकिन यह सुनिश्चित कर सकती है कि बयानों में कोई बदलाव नहीं किया गया है और प्रसाद के आरोप झूठे हैं। एनसीबी ने बताया कि वो अभिमानी, अड़ियल व्यवहार कर रहा था और अपने द्वारा दिए गए बयान पर हस्ताक्षर करने से इनकार कर रहा था। एजेंसी ने दावा किया है कि प्रसाद ड्रग्स खरीदने और सप्लाई करने में शामिल रहे हैं। यह मानना है कि निर्देशक ने कथित रूप से एक पेडलर को पैसे भी चुकाए हैं उन्होंने 50 ग्राम ड्रग्स 35,00 रु. का लिया था।
Times Now Navbharat पर पढ़ें Entertainment News in Hindi, साथ ही ब्रेकिंग न्यूज और लाइव न्यूज अपडेट के लिए हमें गूगल न्यूज़ पर फॉलो करें ।