सुशांत के निधन पर बोले गीतकार मनोज मुंतशिर, 'ये दुनिया है, जहां मरके आवाज गूंजती है'

Manoj Muntashir on Sushant Singh Rajput death: बॉलीवुड एक्‍टर सुशांत स‍िंह राजपूत के न‍िधन से उनकी फ‍िल्‍म 'एमएस धोनी' के गीत ल‍िखने वाले मनोज मुंतशिर आहत हैं। मनोज ने ट्वीट कर ज‍िंदगी की हकीकत पर तंज कसा है।

manoj muntashir on sushant singh rajput death
manoj muntashir on sushant singh rajput death  

Manoj Muntashir on Sushant Singh Rajput death: बॉलीवुड एक्‍टर सुशांत स‍िंह राजपूत के न‍िधन से हर कोई आहत है। सभी के मन में एक सवाल कौंध रहा है, आखिरकार एक जिंदादिल और खुशमिजाज एक्‍टर 34 साल की उम्र में आत्‍महत्‍या कैसे कर सकता है? सुशांत सिंह राजपूत ने अपनी जीवन लीला क्‍यों समाप्‍त की, इसकी जांच मुंबई पुलिस ने शुरू कर दी है और अब तक 13 से जयादा लोगों के बयान दर्ज किए जा चुके हैं। फ‍िल्‍म 'एमएस धोनी' के फेमस गीत 'कौन तुझे यूं प्‍यार करेग' को ल‍िखने वाले मशहूर गीतकार मनोज मुंतशिर सुशांत के निधन से आहत हैं। 

मनोज मुंतशिर ने एक ट्वीट कर ज‍िंदगी की हकीकत पर तंज कसा है। मनोज ने अपने ट्वीट में सुशांत की तस्‍वीर पोस्‍ट की है और लिखा- 'ये दुनिया है यहां जीते-जी कोई कुछ नहीं सुनता... मुझे मरना पड़ेगा तब मेरी आवाज़ गूंजेगी...!!!' ये ट्वीट फ‍िल्‍म जगत के रवैये पर भी सवाल उठाता है। ऐसा कहा जा रहा है कि सुशांत फ‍िल्‍म जगत के कथ‍ित मठाधीशों के रवैये के चलते डिप्रेशन में थे।

नेपाटिज्‍म पर भी साधा था निशाना

गीतकार मनोज मुंतशिर ने इससे पहले बॉलीवुड में भाई-भतीजावाद (Nepotism) पर न‍िशाना साधा था। उन्‍होंने कहा था- 'नपोटिज्‍म यानि भाई भतीजावाद एक्टिंग तक ही क्‍यों सीमित है? क्‍यों ये फ‍िल्‍मी घराने लेखक और निर्देशक तैयार नहीं करते? शायद ये जानते हैं कि नेपाटिज्‍म की प्रयोगशाला में एक्‍टर्स बनाए जा सकते हैं, लेखक और निर्देशक नहीं। क्‍या लेखक और निर्देशक जन्‍म से टैलेंटेड होते हैं?' मनोज यहीं नहीं रुके। उन्‍होंने एक दूसरा ट्वीट किया- मैं नेपोटिज्‍म का विरोधी नहीं हूं लेकिन हमें कुछ मामलों में साफ रहने की जरूरत है। रियल टैलेंट को सामने लाने की जरूरत है। '

नहीं हुआ था सुशांत के निधन की खबर पर यकीन

रविवार को सुशांत सिंह राजपूत के न‍िधन की खबर मनोज मुंतशिर को मिली तो वह इस पर यकीन ही नहीं कर पाए। उन्‍होंने ट्वीट किया- अब सुशांत, इतना जिंदादिल आदमी और ऐसा कदम। झूठ होगा। इसके बाद उन्‍होंने दूसरे ट्वीट में जावेद अख्‍तर की एक लाइन साझा की- ‘नेकी इक दिन काम आती है, हमको क्या समझाते हो... हमने बेबस मरते देखे कैसे प्यारे- प्यारे लोग’! 

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