नई दिल्ली: एक बेहद हैरान कर देने वाला और शर्मसार कर देने वाला मामला सामने आया है। दरअसल, हरियाणा के सोनीपत जिले के एक अस्पताल के मुर्दाघर में रखे 72 साल के किसान के शव को कथित तौर पर चूहे कुतर गए। इस बुजुर्ग किसान ने भी किसान आंदोलन में हिस्सा लिया था और आंदोलन स्थल पर ही उसकी मौत हो गई थी। मामला सामने आने के बाद इस घटना के जांच के आदेश दिए गए हैं।
घटना का पता गुरुवार सुबह चला जब राजेंद्र के परिवार को शव के चेहरे और पैर पर चोट के निशान दिखे। सोनीपत के बैय्यानपुर गांव के निवासी राजेंद्र की दिल का दौरा पड़ने से मौत हो गई थी और उनका शव बुधवार रात को मोर्चरी में रख दिया गया था। उनके शव पर काटे जाने ने निशान मिले।
बवाल बढ़ने पर सोनीपत के प्रिंसिपल मेडिकल ऑफिसर जय भगवान ने कहा कि तीन डॉक्टरों की एक टीम इस मामले की जांच करेगी। इस टीम में उप-चिकित्सा अधीक्षक गिन्नी लांबा, संदीप लठवाल और वरिष्ठ चिकित्सा अधिकारी सुशील जैन हैं। जय भगवान ने बताया कि तीन डॉक्टरों की एक टीम मामले की जांच कर रही है और वे देखेंगे कि किसकी तरफ से लापरवाही बरती गयी है। डॉक्टरों की टीम एक दिन के भीतर ही यह रिपोर्ट सौपेंगी।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता रणदीप सिंह सुरजेवाला ने इसे हैरान करने वाली घटना करार दिया। उन्होंने एक ट्वीट में कहा, '73 साल में ऐसा दर्दनाक मंजर शायद कभी ना देखा हो। शहीद किसान के शव को चूहों ने कुतर दिया और भाजपा सरकार तमाशबीन बनी रही।'
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