अगर पार्टी में चुनाव नहीं हुए तो कांग्रेस अगले 50 साल तक विपक्ष में बैठी रहेगी: गुलाम नबी आजाद

देश
किशोर जोशी
Updated Aug 28, 2020 | 07:10 IST

कांग्रेस में मचा घमासान खत्म होता नहीं दिख रहा है। अब पार्टी के राज्यसभा में नेता गुलाम नबी आजाद ने दो टूक कहा है कि यदि पार्टी में चुनाव नहीं होते हैं तो कांग्रेस अगले 50 साल तक विपक्ष में बैठी रहेगी।

Ghulam Nabi Azad says congress will continue to sit in opposition for next 50 years if election doesn't happen in party
आजाद बोले- पार्टी में चुनाव जरूरी, नहीं तो 50 साल तक बैठे रहेंगे विपक्ष में 
मुख्य बातें
  • कांग्रेस में मची रार खत्म होने की बजाय बढ़ती हुई दिख रही है
  • गुलाम नबीं आजाद हुए और मुखर, पार्टी में चुनाव को लेकर दिया बड़ा बयान
  • आजाद बोले- पार्टी में चुनाव जरूरी, नहीं तो 50 साल तक बैठे रहेंगे विपक्ष में

नई दिल्ली: कांग्रेस में मची रार खत्म होती हुई नहीं दिख रही है। वरिष्ठ कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद ने कहा है कि कांग्रेस कार्यसमिति और राज्य प्रमुखों, जिला अध्यक्षों, ब्लॉक अध्यक्षों के प्रमुख संगठनात्मक पदों के लिए चुनाव होने चाहिए और इसका विरोध करने वालों को अपने पदों को खोने का डर है। पार्टी में बदलाव के लिए चुनाव कराने की मांग करने वाले वरिष्‍ठ नेता गुलाम नबी आजाद ने कहा कि जिन 23 लोगों ने पत्र लिखा था, उनकी मंशा कांग्रेस को सक्रिय करने की थी।  उन्होंने कहा कि यदि निर्वाचित निकाय पार्टी का नेतृत्व करते हैं तो उसके लिए संभावनाएं हैं अन्यथा कांग्रेस अगले 50 वर्षों तक विपक्ष में बैठी रहेगी।

फिर की चुनाव कराने की वकालत

उन्होंने कहा,'जब आप चुनाव लड़ते हैं तो कम से कम 51 प्रतिशत आपके साथ होते हैं और आप पार्टी के भीतर केवल 2 से 3 लोगों के खिलाफ चुनाव लड़ते हैं। एक व्यक्ति जिसे 51 प्रतिशत वोट मिलेंगे, अन्य को 10 या 15 प्रतिशत वोट मिलेंगे। जो व्यक्ति जीतता है और अध्यक्ष पद का प्रभार प्राप्त करता है, इसका मतलब है कि 51 प्रतिशत लोग उसके साथ हैं। चुनाव का लाभ है ये कि जब आप चुनाव लड़ते हैं, तो कम से कम आपकी पार्टी में 51 प्रतिशत लोग आपके पीछे खड़े रहते हैं। अभी, अध्यक्ष बनने वाले व्यक्ति के पास एक प्रतिशत समर्थन भी नहीं हो सकता है। यदि सीडब्ल्यूसी सदस्य चुने जाते हैं, तो उन्हें हटाया नहीं जा सकता। तो समस्या क्या है।'

अभी के अध्यक्ष को एक फीसदी लोगों का भी समर्थन नहीं

 उन्होंने आगे कहा, 'जो दूसरे, तीसरे या चौथे स्थान पर रहेंगे वे सोचेंगे कि हमें कड़ी मेहनत करते हुए पार्टी को मजबूत करना होगा और अगली बार जीतना होगा। लेकिन, अभी जो अध्यक्ष चुना गया है उसे पार्टी के 1 प्रतिशत कार्यकर्ताओं का समर्थन भी नहीं है।' उन्होंने चुनाव की मांग को दोहराते हुए कहा कि इससे पार्टी की नींव मजबूत होगी। पार्टी में चुनाव नहीं कराए जाने के परिणामों की तरफ ध्यान आकर्षित करते हुए उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी किसी ऐसे शख्स को राज्य में पार्टी अध्यक्ष के रूप में नियुक्त कर रही है जो दिल्ली में आता है और जिसके लिए पार्टी के बड़े नेताओं द्वारा सिफारिश की जाती है।

विरोध करने वाले कर रहे हैं नुकसान

उन्होंने कहा, 'हमें यह भी नहीं पता होता है कि ऐसे व्यक्तियों को 1 प्रतिशत या 100 प्रतिशत का समर्थन प्राप्त है। कई ऐसे हैं जिनके पास 1 प्रतिशत समर्थन भी नहीं है। पार्टी नेतृत्व के लिए ऐसा राज्य, जिले, सीडब्ल्यूसी चुनावों में होता है। व्यक्ति को हटाया जा सकता है लेकिन एक निर्वाचित व्यक्ति को नहीं हटाया जा सकता है। इसमें गलत क्या है।' उन्होंने उन नेताओं की कड़ी आलोचना की जो चुनावों का विरोध कर रहे हैं। आजाद ने कहा कि जो लोग वफादारी का दावा कर रहे हैं, वे वास्तव में सस्ती राजनीति कर रहे हैं और यह पार्टी तथा राष्ट्र के हितों के लिए नुकसानदायक हैं। आजाद ने कहा कि अगर मेरी पार्टी अगले 50 वर्षों के लिए विपक्ष में रहना चाहती है, तो पार्टी के भीतर चुनाव की कोई आवश्यकता नहीं है

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