मुंबई : महाराष्ट्र में मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के मुख्यमंत्री बने रहने की अनिश्चितताओं को लेकर जारी सियासी गहमागहमी के बीच राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने निर्वाचन आयोग से अनुरोध किया है कि वह राज्य विधानपरिषद की रिक्त पड़ी 9 सीटों पर चुनाव की घोषणा करे। निर्वाचन आयोग ने कोरोना वायरस संक्रमण के कारण इन सीटों पर चुनाव टाल दिया था, जिसके कारण इस पर अनिश्चिता पैदा हो गई है कि उद्धव ठाकरे 27 मई के बाद भी राज्य के सीएम बने रहेंगे या नहीं?
किसी सदन के सदस्य नहीं हैं उद्धव ठाकरे
दरअसल, उद्धव ठाकरे ने 28 नवंबर, 2019 को महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री के तौर पर शपथ ली थी। लेकिन तब वह न तो विधानसभा के सदस्य थे और न ही विधान परिषद के। महाराष्ट्र में विधासभा और विधानपरिषद दोनों है और ऐसे में उद्धव ठाकरे को अपने पद पर बने रहने के लिए दोनों में से किसी भी एक सदन की सदस्यता 6 माह के भीतर लेनी आवश्यक है, जिसकी अवधि 27 मई को समाप्त हो रही है।
कोरोना के कारण टला है चुनाव
महाराष्ट्र विधान परिषद की रिक्त पड़ी सीटों के लिए चुनाव 24 अप्रैल को ही होना था, लेकिन कोरोना वायरस संक्रमण के कारण निर्वाचन आयोग ने इसे अनिश्चितकाल के लिए टाल रखा है। इस बीच राज्य कैबिनेट की ओर से 6 अप्रैल को राज्यपाल से यह अनुशंसा भी की गई कि वह उद्धव ठाकरे को विधान परिषद के सदस्य के तौर पर मनोनीत कर दें, लेकिन राज्यपाल ने इस पर कोई फैसला नहीं लिया। ऐसे में इस बात को लेकर अनिश्चिता बढ़ती जा रही है कि उद्धव महाराष्ट्र में सीएम बने रहने के लिए निर्धारित समय के भीतर किसी सदन की सदस्यता हासिल कर पाएंगे या नहीं।
कोश्यारी की चुनाव आयोग से अपील
इन्हीं अनिश्चितताओं के बीच राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने निर्वाचन आयोग से अनुरोध किया है कि वह विधानपरिषद की रिक्त पड़ी सीटों पर चुनाव की घोषणा जल्द से जल्द करे। राज्य में सत्तारूढ़ गठबंधन में शामिल पार्टियों शिवसेना, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी और कांग्रेस ने भी चुनाव आयोग से अपील की है और कहा कि कोविड-19 का संक्रमण इसमें किसी तरह की रुकावट नहीं है। सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए और अन्य सावधानियों को बरतते हुए ऐसा हो सकता है।
बीजेपी ने किया स्वागत
महाराष्ट्र विधानपरिषद की रिक्त पड़ी सीटों पर जल्द से जल्द चुनाव के अनुरोध को लेकर राज्यपाल के फैसले का विपक्षी भारतीय जनता पार्टी ने भी स्वागत किया है। राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री व बीजेपी नेता देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि महाराष्ट्र में अनिश्चिता के माहौल को देखते हुए राज्यपाल का यह फैसला सही है। यह संविधान के अनुरूप है। उम्मीद है निर्वाचन आयोग गृह मंत्रालय से मशविरा कर उचित फैसला लेगा।
बताया जा रहा है कि इस संबंध में निर्वाच आयोग की बैठक शुक्रवार सुबह करीब 9:30 बजे होनी है, जिसके बाद ही इस बारे में कोई फैसला लिया जाएगा।
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