नई दिल्ली : चक्रवात 'ताउते' की तबाही के निशान अभी मिटे नहीं हैं कि बंगाल और ओडिशा पर अब चक्रवात 'यास' का खतरा मंडराने लगा है। मौसम विभाग का अनुमान है कि यह चक्रवात पारादीप और सागर आइलैंड के तटों से बुधवार को टकराएगा। इस दौरान चक्रवार का वेग 155-165 किलोमीटर प्रतिघंटा हो सकता है। चक्रवात की रफ्तार 185 किलोमीटर प्रतिघंटे तक भी जा सकती है। इस दौरान बंगाल और ओडिशा के तटवर्ती जिलों में भारी बारिश होने का अनुमान जताया गया है। मौसम विभाग की भविष्यवाणी के बाद सरकार ने अपनी तैयारी तेज कर दी है।
मुख्यमंत्रियों के साथ गृह मंत्री की आज बैठक
गृह मंत्री अमित शाह चक्रवात से निपटने की तैयारियों का जायजा लेने के लिए आज वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए ओडिशा, आंध्र प्रदेश, पश्चिम बंगाल, के मुख्यमंत्रियों एवं अंडमान निकोबार द्वीप के लेफ्टिनेंट गवर्नर के साथ बैठक करेंगे। इस चक्रवात का ज्यादा प्रभाव कोलकाता पर देखने को मिल सकता है। यहां मंगलवार सुबह से हल्की और बुधवार को भारी बारिश हो सकती है।
एनडीआरएफ की 46 टीमें तैयार
चक्रवात 'यास' के स्तर एवं प्रभाव को देखते हुए एनडीआरएफ अपनी तैयार में जुटा है। एनडीआरएफ की 46 टीमें तैयार रखी गई हैं। पश्चिम बंगाल, ओडिशा, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु और पुडुचेरी में राहत एवं बचाव कार्य चलाने के लिए एनडीआरएफ अपनी नाव, पेड़ काटने वाले कटर, दूरसंचार उपकरण आदि के साथ तैयार है। इस बीच 13 टीमों को रविवार को एयरलिफ्ट कर उनके तैनाती की जगह पर पहुंचाया गया।
इस बार ओमान ने दिया चक्रवात का नाम
इस बार ओमान ने चक्रवात का नाम 'यास' दिया है। चक्रवात से निपटने की तैयारियों का जायजा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी लिया है। पीएम ने अधिकारियों से राज्यों के साथ संपर्क में रहकर काम करने और खतरे वाली जगहों से लोगों को सुरक्षित निकालने का निर्देश दिया है। साथ ही उन्होंने समुद्र एवं तट से जुड़े कार्यों में शामिल लोगों को समय रहते वहां से निकालने के लिए भी कहा है।
वायु सेना के परिवहन विमान, हेलिकॉप्टर तैयार
भारतीय वायुसेना ने चक्रवात ‘यास’ से उत्पन्न स्थिति से निपटने की तैयारियों के तहत मानवीय सहायता और आपदा राहत कार्यों के लिए 11 परिवहन विमान और 25 हेलीकॉप्टर तैयार रखे हैं। यह जानकारी अधिकारियों ने रविवार को दी। अधिकारियों ने बताया कि बंगाल की खाड़ी में बन रहे चक्रवात से निपटने के लिए सरकार द्वारा कई उपायों की शुरुआत करने के बीच वायुसेना ने रविवार को तीन अलग-अलग स्थानों से 21 टन राहत सामग्री और राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) के 334 कर्मियों को हवाई मार्ग से कोलकाता और पोर्ट ब्लेयर पहुंचाया।
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