गेमचेंजर साबित होंगे प्रवासी, सीएम योगी के संकल्‍प को मिलेगा बल

मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ की असाधारण नेतृत्व क्षमता उत्तर प्रदेश के लिए उन्नत्ति के नए मार्ग प्रशस्त कर रही है, जिसमें एक बड़ा रोल अदा कर रहे हैं उत्तर प्रदेश के प्रवासी नागरिक।

UP CM Yogi Adityanath
UP CM Yogi Adityanath 
मुख्य बातें
  • अर्थव्‍यवस्‍था के साथ जुड़ेंगे दूसरे देशों में रह रहे प्रवासी भारतीय
  • विदेशी निवेश का मार्ग प्रशस्त करेगा यह कदम
  • व‍िदेशी न‍िवेश लाने की द‍िशा में हर संभव प्रयास कर रही सरकार

रीना सिंह। उत्‍तर प्रदेश की योगी सरकार अपने प्रदेश में रह रहे श्रमिकों व कामगारों के हितों के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध है। मुख्यमंत्री ने शनिवार को अपने सरकारी आवास पर 10 लाख 48 हजार 166 श्रमिक परिवारों के खातों में एक हजार रुपये की धनराशि डीबीटी के माध्यम से भेजी। इस दौरान राज्य सरकार ने बाहर से आए मजदूरों और कामगारों को सुरक्षित क्वारंटाइन केंद्रों में रखा है, जहां उनके लिए भोजन व पानी के साथ-साथ मेडिकल स्क्रीनिंग की भी व्यवस्था की गई। उन्होंने कहा है कि प्रदेश में 35 लाख प्रवासी श्रमिक व कामागारों को विषम परिस्थितियों में घर वापस आना पड़ा है, जिनके लिए सरकार रोज़गार के अवसर भी प्रशस्त कर रही है।

अगर हम प्रदेश के विदेशों में रह रहे प्रवासी मजदूरों की बात करें तो केंद्र सरकार के अनुसार उत्तर प्रदेश के विदेशों में रह रहे प्रवासी मजदूर देश में केवल  3.1 % विदेशी मुद्रा भेजते हैं जोकि बाकी राज्यों की तुलना में बहुत कम है। इससे यह मालूम पड़ता हैं क‍ि वो अपने प्रदेश को लग भग छोड़ चुके हैं। यह एक चिंता का विषय है। योगी सरकार ने प्रदेश में निवेशकों की रुचि बढ़ाई है तथा कोरोना संकट के समय में योगी सरकार ने जिस रूप से चुनौती भरे समय को अवसर में परिवर्तित किया है, वह अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर चर्चा का विषय बना हुआ है। बड़े -बड़े  दिग्गजों समेत पाकिस्तान जैसे दुश्मन देश ने योगी आदित्यनाथ की कार्य कुशलता का लोहा माना है।

योगी की यह असाधारण नेतृत्व क्षमता उत्तर प्रदेश के लिए उन्नत्ति के नए नए मार्ग प्रशस्त कर रही है, जिसमें एक बड़ा रोल अदा कर रहे हैं उत्तर प्रदेश के प्रवासी नागरिक। प्रवासी भारतीयों को प्रदेश की अर्थव्‍यवस्‍था के साथ जोड़ना प्रदेश में विदेशी निवेश का मार्ग प्रशस्त करेगा। योगी आदित्‍यनाथ ने प्रवासी श्रमिकों का प्रदेश में स्वर्णिम भविष्य सुनिश्चित कर दिया है और अब प्रवासी भारतीय अपनी बारी का इंतज़ार कर रहे हैं।  राम मंदिर का निर्माण कार्य प्रवासी भारतीयों या यूं कहें क‍ि प्रवासी उत्तर प्रदेश वासियों के लिए किसी सपने से कम नहीं है। राम मंदिर का निर्माण होना हर हिन्दू के लिए गौरव और सुकून का विषय है तो इस बेला पर प्रवासी भारतीयों को जोड़ना, प्रदेश के विकास को पूर्णता का दर्जा देना होगा।

प्रयागराज कुम्भ के समय में योगी सरकार ने प्रवासी भारतीयों को एक नए उत्तर प्रदेश से अवगत कराया, जो निश्चित ही उनके स्मृति पटल पर लम्बे समय तक रहेगा। दिव्य कुम्भ के सफल आयोजन के साथ साथ प्रदेश सरकार ने विभिन्‍न परियोजनाएं को लगाने में निवेशकों की रुचि बढ़ाई है। योगी सरकार भारी-भरकम निवेश से विकास को तेज़  रफ्तार देने की तैयारी में है।  फरवरी, 2018 में आयोजित उत्तर प्रदेश इन्वेस्टर्स समिट में 4.68 लाख करोड़ रुपए के निवेश संबंधी एमओयू पर हस्ताक्षर हुए, जोकि सरकार के 2019  के प्रदेश के सलाना बजट से भी ज़्यादा है। यह एमओयू सरकार के पहले वर्ष की बहुत बड़ी उपलब्धि है,  जिससे लगभग 5 लाख लोगों के लिए रोजगार के अवसर सुनिश्चित किये गए हैं।

प्रदेश के डिफेंस इंडस्ट्रियल कॉरिडोर में निवेश के लिए विभिन्न उद्यमों के साथ 23 एमओयू हस्ताक्षरित हुए हैं,  इससे 50 हज़ार करोड़ का निवेश होगा तथा लाखों लोगों को रोज़गार मिलेगा। इसी वर्ष  डिफेंस एक्सपो 2020 में 3000 से अधिक रक्षा क्षेत्र के विदेशी प्रतिनिधियों व देश के विभिन्न क्षेत्रों के 10,000 प्रतिभागियों ने हिस्सा लिया तथा डिफेंस एक्सपो-2020 के दौरान रक्षा क्षेत्र में 190 से अधिक समझौते हुए। पिछले तीन वर्षों में सूक्ष्म, लघु तथा मध्यम उद्यमों में करीब 5000 करोड़ रुपए का निवेश हुआ है तथा इंडिया इंवेस्टमेंट ग्रिड (आईआईजी) के अनुसार उत्तर प्रदेश में परियोजनाएं लगाने में निवेशकों की रुचि में 18.6 प्रतिशत का इजाफा हुआ है, जो प्रदेश की अर्थव्यवस्था के लिए अच्छे संकेत हैं।

अगर हम अखिलेश  सरकार की बात करें तो उनके शासन में प्रदेश का वित्तीय घाटा 4.04 % था, वहीं योगी ने अपने तीन वर्ष की कार्य कुशलता से इस वित्तीय घाटे को  4.04 % से घटा  कर 2.97 % तक पहुंचाया है जोकि प्रदेश के आर्थिक हितों के लिए एक बहुत बड़ी सफलता है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का प्रवासी मंत्रालय, विदेशों में रह रहे प्रवासी भारतीयों को प्रदेश के आध्यात्मिक तथा सांस्कृतिक  इतिहास द्वारा एक सूत्र में पिरोने की योजना बना रहा है, जिसके अंतर्गत अयोध्या में दीपावली तथा बरसाना की होली के कार्यक्रमों का प्रदेश की प्रवासी वेबसाइट द्वारा सीधा प्रसारण करने की योजना है। आध्यात्मिक गतिविधियों के साथ-साथ प्रवासी भारतीयों को "निवेश मित्र" नामक निवेश पोर्टल से भी जोड़ा जायेगा, ताकि प्रवासी भारतीय अपनी मिट्टी से दूर होने के बावजूद भी प्रदेश से जुड़ सके एवं प्रदेश के आर्थिक विकास में सहयोग कर सकें।



योगी सरकार की यह नीति प्रवासियों के लिए एक गेम चैंजेर साबित होगी, जिससे विकास के नए कीर्तिमान स्थापित होंगे। प्रदेश सरकार को विदेशों में रह रहे प्रवासी प्रदेश वासियों के लिए एक डाटा बेस बनाना होगा जिससे यह मालूम चल सके क‍ि कौन से देश में कितने उत्तर प्रदेश वासी हैं। विश्व के सभी देशों में प्रवासी उत्तर प्रदेश वासियों का नेटवर्क बनाना होगा। हर बड़े देश में भारतीय दूतावास की मदद से प्रदेश के नागरिकों को जोड़ा जाए और उनकी समस्याओं को दूर करने के लिए सरकार जरुरी कदम उठा सके। प्रवासी प्रदेश वासियों की समस्याओं के निपटारे  लिए एक बेहद सक्रिय शिकायत केंद्र की तत्काल आवश्यकता है। प्रवासी भारतीयों की उत्तर प्रदेश के प्रति सोच, भावना की अभिव्यक्ति के लिये एक मंच उपलब्ध कराना होगा, जिससे प्रवासियों के मन में  सरकार के प्रति अटूट विश्वास पैदा हो सके।

प्रवासी प्रदेश वासियों के द्वारा प्रदेश में निवेश को प्रोत्साहन देने के लिए कुछ योजनाओं को पटरी पर उतारना होगा, जैसे प्रवासी द्वारा जमीन खरीदने को प्रोत्साहित करने के लिए स्‍टॉम्‍प ड्यूटी में छूट के साथ साथ सरकार द्वारा उनकी पूंजी की सुरक्षा की गारंटी देना तथा प्रवासी द्वारा प्रॉपर्टी के खरीद फरोख्‍त को इनकम टैक्स : कैपिटल गेन में छूट के साथ साथ आसान बनाना। प्रवासी प्रदेशवासियों की संख्या, देश का सबसे बड़ा राज्य होने के कारण बाकी राज्यों के नागरिकों की तुलना में सबसे ज़्यादा है। प्रवासी भारतीय हर मुश्किल समय में भारत के साथ खड़े रहते हैं। चाहे वह प्राकृतिक आपदा हो या फिर आर्थिक या राजनीतिक संकट प्रवासी भारतीयों ने हर तरह से भारत की सहायता करने का प्रयास किया तथा भारत की एकता और अखंडता के लिए अपने निवास देशों में सदैव भारत के पक्ष में आवाज उठाई।

वर्तमान में भारतीय प्रवासियों की विविधता पहले से कहीं अधिक है। भारतीय मूल के लाखों लोग विश्व के लगभग प्रत्येक देश में विविध कार्यों में संलग्न हैं। शिक्षित और आत्मनिर्भर प्रवासी भारतीय समुदाय राष्ट्र तथा प्रदेश निर्माण में प्रमुख भूमिका निभा सकता है और समुदाय के जुड़ाव से प्रदेश को अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर पहचान मिल सकती है। प्रदेश सरकार को प्रवासी भारतीयों के अनुभवों  का लाभ उठाना होगा, जिससे प्रदेश के विकास में सहयोग मिल सके। प्रवासी भारतीयों के लिये संगठन की भावना का विकास करना और इसे स्थापित करने के लिये कार्य योजना बनाना तथा राज्य  के प्रवासी भारतीयों और भविष्य में प्रवासी होने वाले लोगों के लिये क्षमता निर्माण कार्यक्रमों का विकास करना आने वाले समय में सरकार तथा प्रदेश की अर्थवयवस्था के लिए मददगार साबित होगा।

(लेखिका सुप्रीम कोर्ट दिल्‍ली में अधिवक्‍ता हैं।)

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