इस शक्तिपीठ पर गिरा था माता सती का दाहिना वक्ष, महमूद गजनवी ने पांच बार लूटा था ये मंदिर

ब्रजेश्वरी मंदिर में माता पिंडी रूप में विराजमान हैं। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार इस शक्तिपीठ में माता सती का दाहिना वक्ष गिरा था। महिषासुर को मारने के बाद मां दुर्गा ने अपने घाव में मक्खन लगाया था।

Brajeshwari Temple
Brajeshwari Temple 
मुख्य बातें
  • माता के ज्यादातर शक्तिपीठ पहाड़ों में बसे हुए हैं।
  • हिमाचल के कांगड़ा जिले में स्थित ब्रजेश्वरी देवी का मंदिर 51 शक्तिपीठों में से एक है।
  • ब्रजेश्वरी मंदिर में माता पिंडी रूप में विराजमान हैं।

नई दिल्ली. देवी-देवताओं का निवास पहाड़ों में होता है। इसी कारण से माता के ज्यादातर शक्तिपीठ पहाड़ों में बसे हुए हैं। हिमाचल के कांगड़ा जिले में स्थित ब्रजेश्वरी देवी का मंदिर 51 शक्तिपीठों में से एक है।

ब्रजेश्वरी मंदिर में माता पिंडी रूप में विराजमान हैं। इसके अलावा भगवान शिव के रूप भैरव नाथ भी मंदिर में विराजमान हैं। मंदिर के पास में ही बाण गंगा है, जिसमें स्नान करने का विशेष महत्व है।

ब्रजेश्वरी मंदिर में माता पिंडी रूप में विराजमान हैं। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार इस शक्तिपीठ में माता सती का दाहिना वक्ष गिरा था। यही नहीं, महिषासुर को मारने के बाद मां दुर्गा को कुछ चोटे आई थीं। देवी मां ने इसी स्थान पर अपने शरीर पर मक्खन लगाया था। 

Bajreshwari Devi Temple Kangra, History, Timings & Importance

पांडवों ने किया था मंदिर निर्माण
पौराणिक मान्यताओं के अनुसार महाभारत काल में पांडवों ने इस मंदिर का निर्माण किया था। हालांकि, मंदिर को कई विदेशी आक्रमणकारियों द्वारा भी लूटा भी गया है। सबसे पहले साल 1009 ईं में महमूद गजनवी ने इस मंदिर को पांच बार लूटकर नष्ट किया था। 

1337 में मुहम्मद बिन तुगलक ने और इसके बाद पांचवी शताब्दी में सिकंदर लोदी ने भी इस मंदिर को लूटकर तबाह कर दिया था। मुगल बादशाह अकबर ने मंदिर का पुन: निर्माण करवाया था। साल 1905 में आए भूकंप में मंदिर नष्ट हो गया। साल 1920 में इसका पुनर्निर्माण कराया था।

तीन भागों में चढ़ता है प्रसाद 
ब्रजेश्वरी मंदिर में माता का प्रसाद तीन भागों में चढ़ाता है। पहला भाग महासरस्वती, दूसरा भाग महालक्ष्मी और तीसरा महाकाली को चढ़ाया जाता है। एकदाशी के दिन चावल का प्रयोग नहीं किया जाता।

On Tuesday, the temple authorities at the Bajreshwari Devi Temple in Kangra, Himachal Pradesh, started preparations for the installation ceremony of an idol of Hindu deity Durga, made of 2100 kg of

मंदिर के गर्भगृह में भी तीन पिंडी हैं। पहली मां ब्रजेश्वरी, दूसरी मां भद्रकाली और तीसरी सबसे छोटी पिंडी एकादशी की है।दुर्गा मां ने महिषासुर वध कर मक्खन लगाया था, उस दिन देवी की पिंडी को मक्खन से ढका जाता है।

देश और दुनिया की ताजा ख़बरें (Hindi News) अब हिंदी में पढ़ें | अध्यात्म (Spirituality News) की खबरों के लिए जुड़े रहे Timesnowhindi.com से | आज की ताजा खबरों (Latest Hindi News) के लिए Subscribe करें टाइम्स नाउ नवभारत YouTube चैनल

अगली खबर