Dhakad Exclusive : धाकड़ एक्सक्लूसिव में आज बात होगी पाकिस्तान की। पाकिस्तान इसलिए क्योंकि भारत का एक पड़ोसी देश श्रीलंका इन दिनों बड़े संकट के दौर से गुजर रहा है और वहां जो संकट है, कहा जा रहा है कि ठीक वैसे ही हालात पाकिस्तान में किसी भी वक्त बन सकते हैं। पाकिस्तान में महंगाई से त्रस्त जनता के आक्रोश की आवाजें अब सुनाई देने लगी हैं। वहां की सरकार श्रीलंका की स्थिति देख रही है, और यहां भी आक्रोश सड़कों पर न दिखने लगे, इसलिए अपनी अवाम को पीएम शहबाज शरीफ राहत के सपने दिखाने लगे हैं। लेकिन पाकिस्तान में आर्थिक संकट की सच्चाई इस सपने से कोसों दूर है और जानकार तो ये तक कहने लगे हैं कि श्रीलंकामें जो तस्वीर दिख रही है, वो ट्रेलर है, इससे बड़ी पिक्चर पाकिस्तान में किसी भी दिन दिख सकती है।
श्रीलंका की उन आवाजों पर उस वक्त किसी ने ध्यान नहीं दिया। जिसका नतीजा ये हुआ कि कोलंबो में आज जनता सड़क पर है। हर ओर से हिंसा, प्रदर्शन, हंगामे की तस्वीर सामने आ रही हैं। राष्ट्रपति भवन, पीएम आवास पर प्रदर्शनकारियों की कब्जा है और लंका का ये कांड इस वक्त पूरी दुनिया देख रही है। अब जबकि, श्रीलंका एक उदाहरण है, ऐसे में पाकिस्तान की बदहाली वहां के अवाम की चिंता बढ़ा रही है।
पाकिस्तान में इन दिनों पेट्रोल, डीजल, आटा, दूध, चाय, चीनी से लेकर खाने पीने और रोजमर्रा के जीवन से जुड़ी हर चीज की कीमतों में आग लगी पड़ी है।
पाकिस्तान में पेट्रोल 250 रुपये प्रति लीटर
डीजल 278 रुपये प्रति लीटर
रसोई गैस 2526 रुपये प्रति सिलेंडर
चावल 118 रुपये प्रति किलो
और आटा 60 रुपये प्रति किलो है
पाकिस्तान का विदेशी मुद्रा भंडार 10 अरब डॉलर से नीचे जा चुका है, देश में महंगाई दर का आंकड़ा 20 प्रतिशत के पार पहुंच चुका है
डॉलर के मुकाबले पाकिस्तानी रुपया गिरकर 200 रुपये के पार जा चुका है। ये पाकिस्तान रुपये का रिकॉर्ड डाउन है और आर्थिक पैमाने पर ये तीनों आंकड़े पाकिस्तान के बुरे दिनों के संकेत दे रहे हैं।
सच्चाई यही है कि पाकिस्तान के ऊपर कर्ज का बोझ लगातार बढ़ता जा रहा है। पाकिस्तान के जिन देशों से व्यापारिक रिश्ते हैं वहां मंदी की आहट से व्यापार में गिरावट आ रही है। पाकिस्तान के पास कमाई के मौके सीमित हो चुके हैं। निवेशकों ने दूरी बना ली है। अर्थव्यवस्था पूरी तरह चरमरा गई है।
रेटिंग एजेंसी फिच की 17 देशों की लिस्ट में ट्यूनिशिया, घाना, इथोपिया, तजाकिस्तान, अर्जेंटीना, बेलारूस के साथ पाकिस्तान भी शामिल है। एजेंसी की तरफ से जारी रिपोर्ट में आशंका जताई गई है कि पाकिस्तान की लगातार बिगड़ती अर्थव्यवस्था के कारण ये देश दिवालिया हो सकता है। यानी बड़ी बड़ी बातें अपनी जगह, जबकि पाकिस्तान के लिए ये सच्चाई अलार्म बजाने वाली है लेकिन ये देखने सुनने को शरीफ सरकार तैयार नहीं है वो आज भी पूर्व की इमरान सरकार को कोस रही है।
पिछले दिनों पाकिस्तान सरकार ने स्थिति संभालने के लिए लग्जरी आइटम के आयात पर प्रतिबंध लगाने समेत अमीरों पर सुपर टैक्स लगाने जैसे कदम उठाए थे, लेकिन कोढ़ में खाज ये है कि पाकिस्तान FATF की ग्रे लिस्ट से बाहर नहीं निकल पाया है। जिसकी वजह से IMF जैसी संस्था से उसे कर्ज मिलना मुश्किल है और नतीजे में जिस स्पीड से यहां की महंगाई बढ़ रही है, वो यहां के लोगों को लंका की तस्वीरें देखने और भविष्य में और भी ज्यादा बदतर हालात पर सोचने को मजबूर कर रही है।
श्रीलंका पाकिस्तान
एक पैकेट ब्रेड 180 रु. 73 रु.
एक दर्जन अंडा 500 रु. 195 रु.
पेट्रोल 550 रु./ली. 250 रु./ली.
डीजल 460 रु./ली. 278 रु./ली.
रसोई गैस 4,910 रु./सिलेंडर 2526 रु./सिलेंडर
चावल 216 रु./किलो. 118 रु./किलो.
आटा 287 रु./किलो. 60 रु./किलो.
हिंदी पौराणिक मान्यता में भस्मासुर नाम का एक राक्षस हुआ करता था, जिसके बारे में कहा जाता था कि वो किसी के सिर पर हाथ रख दे...तो वो भस्म हो जाता है । चीन का हाल भी कुछ-कुछ वैसा ही, चीन से दोस्ती मतलब अपनी आर्थिक बर्बादी। श्रीलंका के जो आज हालात हैं उसकी सबसे बड़ी वजह है चाइना। मेड इन चाइना दोस्ती श्रीलंका को बहुत महंगाी पड़ी है।
श्रीलंका पाकिस्तान
महंगाई दर 54.6% 21.3 %
2019 55,300 करोड़ रुपये, 2019 - 63,200 करोड़ रुपए
अभी -395 करोड़ रुपये, अभी -65,096 करोड़ रुपये
डॉलर के मुकाबले, 359.64 श्रीलंका रुपया, 207.21 पाकिस्तानी रुपया
चीन का कर्ज 39,500 करोड़ रुपये, 1,45,360 करोड़ रुपये
हमने आपको श्रीलंका और पाकिस्तान में खाने-पीने के सामानों की कीमतों में अंतर दिखाया था। अब महंगाई दर से लेकर चीन के कर्ज तक का दोनों देशों का पूरा सीन समझाते हैं क्योंकि आपको इसके बाद आसानी से समझ में आ जाएगा कि दोनों मुल्कों के लिए चीन किस कदर हानिकारक निकला।