नई दिल्ली : देश के अंदरूनी मोर्चे पर बुरी तरह घिरी इमरान खान सरकार चरमराती अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने की कोशिश में जुटी है। देश में कपास और कच्चे धागे से जुड़े उद्योग को संभालने के लिए इमरान सरकार ने इन दोनों सामग्रियों की भारत से आयात को मंजूरी दी है लेकिन पाक सरकार की यह पहल वहां के विपक्ष को नागवार गुजरी है। विपक्ष और पत्रकार करीब दो वर्षों के बाद व्यापार फिर शुरू करने के फैसले पर सवाल उठाने लगे हैं। बता दें कि पाकिस्तान की कैबिनेट आर्थिक समन्वय समिति ने बुधवार को भारत के साथ व्यापार को फिर से शुरू करने को मंजूरी दे दी।
पिछले दो वर्षों से बंद था कारोबार
भारत सरकार ने पांच अगस्त 2019 को जम्मू-कश्मीर को विशेष राज्य का दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 को खत्म कर दिया। इसके बाद पाकिस्तान सरकार ने भारत के साथ होने वाले अपने व्यापार पर रोक लगा दी। इमरान सरकार के इस फैसले ने पहले से लड़खड़ाती अर्थव्यवस्था को और नुकसान पहुंचाया। पाकिस्तान बड़ी मात्रा में भारत से चीनी, दवाओं, मेडिकल उपकरणों, कपास एवं सूती धागे का आयात करता है। इन वस्तुओं के वहां न पहुंचने पर स्थानीय उद्योग एवं कारोबार चरमराने लगा। नौबत इनके बंद होने तक आ गई। स्थानीय कारोबारियों की प्रतिबंध हटाने की बढ़ती मांग को देखते हुए और उद्योगों को बचाए रखने के लिए पाकिस्तान सरकार को अब भारत से इन वस्तुओं की आयात की मंजूरी देनी पड़ी है।
इस फैसले पर पीएमएल-एन ने सवाल उठाए
इमरान सरकार के इस फैसले पर विपक्ष के कई नेताओं ने सवाल उठाए हैं। पाकिस्तान मुस्लिम लीग (नवाज) का कहना है कि इमरान खान यू-टर्न ले रहे हैं। पीएमएलएन ने कहा कि उनके प्रशासन की नाकामी का खामियाजा आम नागरिक भुगत रहे हैं। पीएमएल-एन के नेता एहसान इकबाल ने इस्लामाबाद में पत्रकारों से कहा, 'मैं जानना चाहता हूं कि क्या भारत ने अनुच्छेद 370 पर अपना फैसला बदल लिया है? क्या भारत ने कोई रियायत दी है? इससे साबित होता है कि इस सरकार को देश के मामलों से कोई लेना-देना नहीं है।'
कपास, सूती धागे, चीनी का आयात करेगा पाक
गत बुधवार को वित्त मंत्री हम्माद अजहर ने बताया कि पाकिस्तान की आर्थिक समन्वय समिति (ईसीसी) ने भारत से 0.5 मिलियन टन सफेद धागे एवं कपास का आयात करने का फैसला किया है। मंत्री ने कहा कि इस साल देश में कपास का उत्पादन कम हुआ है इसलिए इसे भारत से आयात किया जा रहा है। पाकिस्तान सरकार की आलोचना करते हुए इमरान खान की पूर्व पत्नी एवं राजनीतिक विश्लेषक रेहम खान ने अपने एक ट्वीट में कहा, 'किस तरह का जलवायु परिवर्तन हुआ कि सीमा के इस ओर फसलों का नुकसान हो गया जबकि दूसरी तरफ इतना कपास हुआ कि वे अन्य देशों को बेच रहे हैं।'
हाल के दिनों में भारत-पाक के रिश्तों में आई है नरमी
हाल के दिनों में भारत और पाकिस्तान के तेवरों में नरमी देखने को मिली है। पाकिस्तान की तरफ से इमरान खान, सेना प्रमुख कमर जावेद बाजवा ने भारत के साथ बातचीत शुरू करने के संकेत दिए हैं। गत फरवरी माह में दोनों देशों के सेना के शीर्ष अधिकारियों ने साल 2003 का सीजफायर समझौते को दोबारा लागू करने का फैसला किया। इमरान खान के कोरोना पॉजिटिव होने पर प्रधानमंत्री मोदी ने उन्हें जल्द ठीक होने की कामना की। इसके बाद पाकिस्तान दिवस के मौके पर पीएम मोदी ने वहां के नागरिकों को बधाई भी दी। दोनों देशों के संबंधों पर नजर रखने वाले विश्लेषकों का मानना है कि नई दिल्ली और इस्लामाबाद के रिश्तों में आ रही नरमी किसी बड़े बदलाव का संकेत हो सकती है।