इस्लामाबाद : कोरोना वायरस पाकिस्तान को भी बुरी तरह अपनी चपेट में ले चुका है। यहां अब तक इस वायरस से संक्रमण के 1022 केस सामने आ चुके हैं। हैरान करने वाली बात है कि यहां कोरोना के जो केस आए हैं उनमें ज्यादातर संख्या 21 से 30 साल के युवाओं की है। यह इसलिए भी चौंकाने वाली बात है कि क्योंकि चीन सहित ज्यादातर देशों में इस वायरस की चपेट में ज्यादातर बुजुर्ग आए हैं जिनकी उम्र 60 वर्ष से ऊपर रही है।
जिओ टीवी की रिपोर्ट के मुताबिक स्वास्थ्य पर प्रधानमंत्री इमरान खान के विशेष सहायक डॉ जफर मिर्जा ने बुधवार को कहा, 'पाकिस्तान में 'कोरोना वायरस से संक्रमण के 24 प्रतिशत केस 21 साल से 30 साल के युवाओं से जुड़े हैं। संक्रमण के मामलों में यह संख्या काफी ज्यादा है। अन्य देशों में इस वायरस ने ज्यादातर बुजुर्गों को अपनी चपेट में लिया है लेकिन पाकिस्तान में यह पैटर्न उल्टा है।'
मिर्जा ने बताया कि पूरे देश में 5225 लोगों को क्वरेंटाइन केंद्रों में अलग-अलग रखा गया है। उन्होंने कहा कि इनमें से 23 फीसदी लोगों की जांच पॉजिटिव आई जबकि शेष लोगों को सुरक्षा निर्देशों के साथ उन्हें घर भेजा जा रहा है। कोरोना के खतरे के बीच पाकिस्तान को चीन से सहायता भी मिली है। बुधवार को चीन से पाकिस्तान को पांच लाख एन-95 मास्क मिले। इन मास्क का इस्तेमाल कोरोना वायरस के मरीजों का इलाज करने वाले डॉक्टर एवं इस अभियान में जुड़े लोग करेंगे। चीन आने वाले दिनों में पाकिस्तान की और मदद करने वाला है।
बता दें कि पाकिस्तान में कोरोना वायरस से संक्रमित होने वाले ज्यादातर लोग ईरान से लौटे हैं। पाकिस्तान में बड़ी संख्या में लोग धार्मिक यात्रा पर ईरान गए थे। पाकिस्तान सरकार ने देश में कोरोना वायरस से संक्रमण को रोकने के लिए ईरान सीमा पर कई कैंप बनाए हैं जहां ईरान से स्वदेश लौटे लोगों को रखा गया है। हाल के दिनों में इन कैंपों के वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुए। इन वीडियो में लोगों ने दावा किया कि ये कैंप काफी गंदे हैं और यहां पर खाने-पीने की सुविधाएं नहीं हैं। सरकार की इस बेइंतजामी पर लोगों ने अपनी नाराजगी जाहिर की।
चीन के बाद कोरोना वायरस अब दुनिया भर में तबाही मचा रहा है। अमेरिका, भारत सहित यूरोपीय देश बुरी तरह से इसकी गिरफ्त में आ चुके हैं। विश्व भर में इस वायरस के संक्रमण से मरने वाले लोगों का आंकड़ा 20 हजार को पार कर गया। इटली, ईरान, फ्रांस और स्पेन में यह वायरस कहर बनकर टूटा है। यहां की सरकारें इससे निपटने के लिए दिन-रात मेहनत कर रही हैं।