Sri Lanka Crisis: भारी आर्थिक संकट से जूझ रहे श्रीलंका (Sri Lanka) में जहां देश के कर्ता-धर्ता कहे जाने वाले राष्ट्रपति-प्रधानमंत्री का अतापता नहीं है वहीं गुस्साई आवाम ने सत्ता तंत्र के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। कल जहां राष्ट्रपति भवन में ट्रेड मिल पर कसरत करते लोगों की तस्वीरें सामने आईं वहीं आज हजारों की लोगों की संख्या, लाखों में होती नजर आ रही है। सभी 400 साल पुरानी इमारत जिसमें प्रधानमंत्री (Gotabaya Rajapaksa) रहते थे उसे देखने को ऐसे जुट रहे हैं मानों कोई म्यूजियम हो।
तस्वीरों में जैसे हालात दिखाई दे रहे हैं लगता है कि पूरा श्रीलंका राष्ट्रपति भवन की तरफ चल पड़ा है। सरकार के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे लोग शुक्रवार को कुछ और थे, आज कुछ और हैं। आज की तस्वीर ऐसी है जब लोगों को ये अहसास हो गया है कि राष्ट्रपति भवन देश का गौरव है। श्रीलंका के लोगों की धरोहर है...तो अब लोग हाथ में झाड़ू लेकर राष्ट्रपति भवन की सफाई में लग गए हैं। राष्ट्रपति गोटाबाया राष्ट्रपति भवन छोड़ चुके हैं। राष्ट्रपति भवन पर अब जनता का कब्जा है। शाही महल अब मॉल बन चुका है।
पूरे श्रीलंका से लोग तफरी के लिए राष्ट्रपति भवन पहुंच रहे हैं। कोई कैरम खेलकर टाइमपास कर रहा है तो कोई सोफे और बेड पर आराम फरमा रहा है।राष्ट्रपति भवन में कुकिंग में हाथ आजमाया जा रहा है। कुछ लोग मछलियों को दाना खिला रहे हैं और जो भी राष्ट्रपति भवन की सीढ़ी चढ़ा नके लिए सेल्फी सेशन तो बनता ही है। ये तय हो चुका है कि राष्ट्रपति गोटाबाया 13 जुलाई को इस्तीफा देंगे।श्रीलंका के लोगों की भीड़ राष्ट्रपति भवन में बढ़ती जा रही है लेकिन अब वो राष्ट्रपति भवन में तोड़फोड़ करने नहीं बल्कि अपनी धरोहर की रक्षा के लिए शाही महल पहुंच रहे हैं।
श्रीलंका में राष्ट्रपति राजपक्षे के इस्तीफे के बाद सर्वदलीय सरकार बनने की बात कही जा रही है विपक्षी दलों ने सर्वदलीय सरकार बनाने को लेकर सहमति जताई है। राष्ट्रपति के शाही महल में कब्जे के दौरान आवाम को बड़ी तादाद में पैसे मिले हैं। कहा जा रहा है कि कुल 1 करोड़ 78 लाख रुपये शाही महल से लोगों को मिले। लोग सरकार का विरोध कर रहे हैं बावजूद इसके लोगों ने पैसों को गिनकर पुलिस के हवाले कर दिया।