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Yes Bank Crisis: येस बैंक को लेकर ग्राहकों में चिंता, निर्मला सीतारमण बोलीं- डूबने नहीं देंगे पैसा

Updated Mar 06, 2020 | 20:38 IST

Nirmala Sitharaman on Yes Bank Crisis: येस बैंक के ग्राहकों के लिए एक महीने में 50,000 रुपये ही निकाल पाने की सीमा तय कर दी गई है, जिससे ग्राहकों में अपना पैसा डूब जाने को लेकर चिंता देखी जा रही है।

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तस्वीर साभार:&nbspANI
Yes Bank: येस बैंक को लेकर ग्राहकों में चिंता, निर्मला सीतारमण बोलीं- डूबने नहीं देंगे पैसा

नई दिल्‍ली : येस बैंक का बोर्ड भंग किए जाने के बाद ग्राहकों जहां चिंता देखी जा रही है, वहीं केंद्रीय वित्‍त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शुक्रवार को पूरे मामले पर प्रेस कॉन्‍फ्रेंस की और बताया कि यस बैंक पर भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की नजर साल 2017 से ही थी, जो लगातार उसकी समीक्षा कर रहा था। उन्‍होंने कहा कि सरकार निवेशकों के हितों की सुरक्षा को लेकर प्रतिबद्ध है।

'3 साल से थी आरबीआई की नजर'

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि आरबीआई वर्ष 2017 से ही येस बैंक पर नजर बनाए हुए है, जिस दौरान प्रशासन संबंधी मसले, कमजोर अनुपालन, गलत परिसंपत्ति वर्गीकरण की बात सामने आई है। उन्‍होंने यह भी कहा कि कर्ज के जोखिम भरे फैसलों का पता चलने के बाद आरबीआई ने येस बैंक प्रबंधन में बदलाव पर जोर दिया। जांच एजेंसियों को भी येस बैंक में अनियमितताओं का पता चला।

खाताधारकों को दिलाया भरोसा

वित्‍त मंत्री निर्मला सीतारमण ने येस बैंक के खाताधारकों को भरोसा दिलाया कि उनका पैसा सुरक्षित है और यह नहीं डूबेगा। उन्‍होंने यह भी कहा कि पूरे मामले पर रिजर्व बैंक की नजर है, जो तेजी से इसके समाधान करने के लिए काम कर रहा है। उन्‍होंने यह भी कहा कि वह खुद भी इसे लेकर आरबीआई के साथ लगातार संपर्क में हैं। आरबीआई ने आश्‍वस्‍त किया है कि जल्‍द ही इसका समाधान निकाल लिया जाएगा। उन्‍होंने कहा, 'मैं येस बैंक के ग्राहकों को भरोसा दिलाना चाहती हूं कि हर जमाकर्ता का धन सुरक्षित है।'

'कर्मचारियों की नौकरी 1 साल तक सुरक्षित'

आरबीआई द्वारा घाटे में चल रहे येस बैंक के बोर्ड को भंग किए जाने से उपजी चिंताओं को लेकर उन्‍होंने कहा, 'यह कदम जमाकर्ताओं, बैंक और अर्थव्यवस्था के हित में उठाया है। सरकार लगातार आरबीआई के संपर्क में है और उसने भरोसा दिलाया है कि किसी भी जमाकर्ता को कोई नुकसान नहीं होगा। वित्त मंत्री ने येस बैंक के कर्मचारियों की नौकरी, वेतन पर भी अपनी बात रखी और कहा कि ये सब एक साल तक सुरक्षित हैं।

धन निकालने की सीमा निर्धारित

यहां उल्‍लेखनीय है कि रिजर्व बैंक ने गुरुवार को सरकार से मशविरे के बाद येस बैंक के बोर्ड ऑफ डायरेक्‍टर्स को भंग कर दिया और इसका कामकाज देखने की जिम्‍मेदारी स्‍टेट बैंक के पूर्व मुख्‍य वित्‍त अधिकारी (सीएफओ) प्रशांत कुमार को दे दी। साथ ही जमाकर्ताओं के लिए मासिक निकासी राशि की अधिक सीमा 50,000 रुपये तय कर दी गई। कई खाते होने पर भी ग्राहक सभी खातों से कुल 50,000 रुपये ही निकाल पाएंगे।

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