- डेडलाइन से पहले आधार को पैन नहीं जोड़ा गया तो जुर्माना हो सकता है।
- इन तरीकों से चेक करें आधार-पैन लिंक स्टेट्स
- मैसेज के जरिए भी आधार-पैन का स्टेट्स आप चेक कर सकते हैं।
आधार कार्ड से पैन कार्ड को लिंक करना अनिवार्य है। लेकिन अगर आपने अभी तक नहीं किया है तो जुर्माना हो सकता हैं। वहीं आपने पैन को आधार से लिंक कर लिया है और स्टेट्स देखना चाहते हैं तो इसके लिए ऑनलाइन तरीका अपनाएं। आप इस प्रक्रिया की मदद से चेक कर सकते हैं कि आपका पैन और आधार लिंक हुआ है या नहीं। यहां बताए गए इन तरीकों की मदद से आप आसानी से पैन-आधार लिंक के स्टेट्स को चेक कर सकते हैं। बता दें कि डेडलाइन से पहले आधार को पैन नहीं जोड़ा गया तो आपके पैन को इनकम टैक्स डिपार्टमेंट द्वारा निष्क्रिय घोषित किया जा सकता है।
इन तरीकों से चेक करें आधार-पैन लिंक स्टेट्स
- इसके लिए सबसे पहले यूजर्स इनकम टैक्स के ऑफिशियल वेबसाइट https://www.incometaxindiaefiling.gov.in/ पर जाएं।
- इसे खोलने के बाद, होम पेज के बाईं ओर एक ऑप्शन 'लिंक आधार' दिखाई देगा।
- ऑप्शन पर क्लिक करने पर, पैन और आधार दोनों लिंक करने के लिए एक पेज दिखाई देगा। इसमें मौजूदा स्थिति की जांच करने का ऑप्शन भी है।
- करेंट स्टेट्स का ऑप्शन चुनने पर आपको एक अलग पेज पर जाना होगा, जहां किसी को पैन और आधार का डिटेल भरना होगा।
- इसके बाद, एक नोटिफिकेशन दिखाई देगी जो आपको लिंक करने के स्टेट्स के बारे में बताएगा।
सरकार ने पैन और आधार को जोड़ने के लिए 31 मार्च 2020 तक डेड लाइन तय किया था। लेकिन कोरोना के फैलते प्रकोप की वजह से कई काम ठप पड़ गए हैं। ऐसे में सब की डेडलाइन बढ़ा दी गई है। वहीं पैन कार्ड को आधार कार्ड से जोड़ने की डेडलाइन भी बढ़ा दी गई है। अब आप पैन को आधार से 30 जून 2020 तक लिंक कर सकते हैं।
अगर आपने अभी भी लिंक नहीं किया है, तो आप बस ऊपर दिए गए वेबसाइट पर जाएं और लिंक करने के लिए डिटेल भरें। पैन और आधार को जोड़ने के लिए एक और तरीका है। इसके लिए आपको 567678 या 56161 पर मैसेज भेजना होगा। इसे भेजते वक्त इस बात का ध्यान रखें कि मैसेज इस फॉर्मेट में ही जाए- UIDPAN12digit Aadhaar> 10digitPAN>।
इसके साथ ही अगर,कोई आधार और पैन को लिंक करने में विफल रहता है, तो यूजर्स को 10,000 रुपये का जुर्माना भी देना पड़ सकता है क्योंकि जब यह निष्क्रिय होता है, तो इसे माना जाएगा कि यह फर्निश्ड नहीं है या उद्धृत नहीं है। इसलिए यह कानूनों का पालन नहीं करेगा और एक व्यक्ति आयकर अधिनियम की धारा 272 बी के तहत राशि का भुगतान करने के लिए उत्तरदायी हो सकता है।