- सौरव गांगुली को सीने में दर्द की शिकायत के बाद शनिवार को कोलकाता के वुडलैंड्स अस्पताल में कराया गया था भर्ती
- तीन कोरोनरी आर्टरी में ब्लॉकेज पाए जाने के बाद की गई थी एंजियोप्लास्टी
- ऐसे में देश के जाने माने कार्डियोलॉजिस्ट डॉक्टर देवी शेट्टी ने की गांगुली और उनका इलाज कर रही टीम से मुलाकात
कोलकाता: बीसीसीआई अध्यक्ष सौरव गांगुली की 2 जनवरी(शनिवार) को दिल का दौरा पड़ने के बाद एंजियोप्लास्टी की गई थी। इलाज के बाद वो अब कोलकाता के वुडलैंड्स अस्पताल से घर जाने को पूरी तरह तैयार हैं। ऐसे में देश के जाने माने हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ देवी शेट्टी ने मंगलवार को कोलकाता में सौरव गांगुली और उनका इलाज कर रही 9 डॉक्टरों की टीम से मुलाकात की।
डॉक्टर शेट्टी ने इन सभी से मुलाकात करके बीसीसीआई अध्यक्ष के आगे के इलाज की रूपरेखा तैयार की। जिनकी घर लौटने के बाद भी डॉक्टरों की एक टीम लगातार निगरानी करती रहेगी।
तीन ऑर्टरी में था ब्लॉकेज
शनिवार को घर पर वर्कआउट के बाद गांगुली ने सीने में हलके दर्द की शिकायत की थी। इसके बाद जांच में पाया गया कि उनकी तीन कोरोनरी ऑर्टरी(धमनी) में ब्लॉकेज है। ऐसे में दिल का दौरा पड़ने के लिए जिम्मेदार मुख्य धमनी की एंजियोप्लास्टी आनन-फानन में की गई थी। नहीं अन्य दो धमनियों(आर्टरी) की एंजियोप्लास्टी के निर्णय को फिलहाल टाल दिया गया है क्योंकि गांगुली की हालत स्थिर बनी हुई है।
दौरे का दिल पर नहीं पड़ा है असर
ऐसे में गांगुली और डॉक्टरों की टीम से मुलाकात के बाद डॉक्टर शेट्टी ने बताया, दिल का हलका दौरा पड़ने से गांगुली के दिल पर कोई असर नहीं पड़ा है। उनका मामना है कि गांगुली का दिल आज भी उतना मजबूत है जितना 20 साल की उम्र में उनका दिल मजबूत था। लेकिन मामला उनकी कोरोनरी आर्टरी में ब्लॉकेज का है।
20 साल की उम्र जैसा है गांगुली का दिल
उन्होंने कहा, सौरव को कोई गंभीर समस्या नहीं है। ऐसी परेशानी का सामना अधिकांश भारतीयों को अपने जीवन के किसी न किसी मोड़ पर करना पड़ता है जो कि कोरोनरी आर्टरी में ब्लॉकेज से संबंधित है।' क्या उनके दिल पर कोई असर पड़ा है? इसके जवाब में उन्होंने कहा कि उनकी आर्टरी में ब्लॉकेज था इसी वजह से उन्हें असहज महसूस हुआ था लेकिन सही समय में वो सही अस्पताल में पहुंच गए और उन्हें सही इलाज भी मिला।'
उन्होंने आगे कहा, उनका दिल आज भी उतना ही मजबूत है जितना 20 साल की उम्र में था। मैं चाहता हूं कि हर कोई इस बात को समझे कि उन्हें दिल की कोई गंभीर परेशानी नहीं थी जिससे कि दिल को नुकसान पहुंचता।