ब्रिस्बेन: भारत का ऑस्ट्रेलिया दौरा अपने अंतिम पड़ाव पर पहुंच गया है। दोनों टीमों के बीच सीरीज का आखिरी टेस्ट शुक्रवार से ब्रिस्बेन के गाबा मैदान पर खेला जाएगा। तीन मैच की सीरीज 1-1 से बराबर है। बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी पर किसका कब्जा होगा इस बात पर मुहर चौथे टेस्ट के निर्णय के बाद ही लगेगी। भारतीय टीम के पास लगातार दूसरी बार ट्रॉफी पर कब्जा बनाए रखने के लिए मैच जीतना या ड्रॉ कराना जरूरी है। लेकिन गाबा के मैदान पर ये काम हिमालय पर चढ़ने से कम नहीं है।
भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच गाबा में अबतक कुल 6 टेस्ट मैच खेले गए हैं। जिसमें से 5 में ऑस्ट्रेलिया विजयी रहा है जबकि एक मैच ड्रॉ रहा है। टीम इंडिया कंगारुओं के खिलाफ इस मैदान पर मैच जीतने में अबतक नाकामयाब रही है। ऐसे में उससे टीम के कई दिग्गज खिलाड़ियों की गैरमौजूदगी में जीत दर्ज करने की आशा की जा रही है। लेकिन टीम इंडिया ने अजिंक्य रहाणे की कप्तानी में अबतक जो जज्बा दिखाया है वो लाजवाब है। ऐसे में टीम इंडिया कुछ ऐसा कर दिखाए जो उसने पहले नहीं किया तो किसी को आश्चर्य नहीं होना चाहिए।
धोनी की कप्तान में जीतते जीतते रह गई थी टीम इंडिया
भारतीय टीम के पास गाबा में खेलने का अनुभव ज्यादा नहीं है। आखिरी बार साल 2014 में धोनी की कप्तानी में भारतीय टीम को यहां 4 विकेट के अंतर से हार का सामना करना पड़ा था। जीत के लिए चौथी पारी में मिले 127 रन के लक्ष्य को हासिल करते हुए 6 विकेट गंवा दिए थे। ऐसे में भारतीय टीम जीत का स्वाद इस मैदान पर चखते चखते रह गई थी।
इस मैदान पर ऑस्ट्रेलिया का रिकॉर्ड भी बेहद शानदार रहा है। ऑस्ट्रेलियाई टीम को इस मैदान पर आखिरी बार हार का सामना साल 1988 में वेस्टइंडीज के खिलाफ करना पड़ा था। 33 साल से इस मैदान पर अविजेय रहा है। पिछले 33 साल में इस मैदान पर ऑस्ट्रेलिया ने 31 मैच खेले हैं जिसमें से 24 में उसे जीत मिली है जबकि 7 ड्रॉ रहे हैं। भारतीय टीम ने पिछली ऐतिहासिक सीरीज जीत के दौरान इस मैदान पर कोई मैच नहीं जीता था।