नई दिल्ली: भारतीय टीम के धारदार तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह फिलहाल एक बुरे दौर से गुजर रहे हैं। चोट से वापसी केबाद असरदार प्रदर्शन नहीं करने के कारण बुमराह को आलोचना का सामना करना पड़ रहा है। उन्होंने वेलिंगटन में न्यूजीलैंड के खिलाफ पहले टेस्ट में 88 रन देकर महज एक विकेट चटकाया। भले ही बुमराह अभी अपने सर्वश्रेष्ठ फॉर्म में न हों लेकिन पिछले कुछ वर्षों में भारतीय क्रिकेट में उनके योगदान को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता। 26 वर्षीय बुमराह दुनिया के सबसे विश्वसनीय गेंदबाजों में से एक हैं। उन्होंने दुनिया भर के बल्लेबाजों को अपनी गेंदों पर घुटने टेकने पर मबूर किया है।
अजीब एक्शन से किया हैरान
साल 2016 में जब उन्होंने अपने अंतरराष्ट्रीय करियर की शुरुआत की थी तो किसी ने नहीं सोचा होगा कि वह आधुनिक क्रिकेट में एक अहम खिलाड़ी बन जाएंगे। बुमराह ने अपने डेब्यू मैच में भी प्रभावित किया था। उनकी पेस और अजीब से एक्शन से सब चौंक गए थे। उन्होंने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पहले वनडे खेलते हुए 10 ओवरों में 40 रन देकर 2 विकेट लिए थे। डेब्यू मैच में इस भारतीय तेज गेंदबाज के कप्तान महेंद्र सिंह धोनी थे। बुमराह ने अब चार साल बाद डेब्यू मैच से पहले कैप्टन कूल से मिली सलाह का खुलासा किया है।
'कोई मेरे पास नहीं आया'
क्रिकबज के शो 'स्पाइसी पिच' में बुमराह ने कहा, 'उस समय कोई मेरे पास नहीं आया, किसी ने मुझसे कुछ नहीं कहा, मगर धोनी मेरे पास आए और कहा, जैसे आप हैं वैसे ही रहें और आनंद लें।' इसके अलावा बुमराह ने शो में यह भी बताया कि उन्हें किसकी वजह से टीम इंडिया तक का सफर तय किया। उन्होंने कहा कि वह आज भारतीय के लिए खेल रहे हैं तो इसका श्रेय जॉन राइट को जाता है।
'जॉन राइट ने प्रतिभा को पहचाना'
उन्होंने कहा कि जॉन राइट ने उनकी प्रतिभा को पहचाना और निखारने में मदद की। बता दें कि जॉन राइट इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) में कई साल पहले मुंबई इंडियंस के साथ जुड़े थे। उसी दौरान उन्होंने बुमराह को मुंबई की टीम के लिए चुना था। जॉन राइट टीम इंडिया के हेड कोच भी रह चुके हैं। गौरतलब है कि बुमराह ने अपने छोटे से अंतरराष्ट्रीय करियर में 13 टेस्ट, 64 वनडे और 50 टी20 मैच खेले हैं। उन्होंने तीनों फॉर्मेट में कुल 226 विकेट अपने नाम किए हैं। इसमें टेस्ट में ली गई हैट्रिक भी शामिल है।