- लसिथ मलिंगा ने बल्ले के दम पर ऑस्ट्रेलिया को दी थी मात
- मलिंगा ने एंजेलो मैथ्यूज के साथ 9वें विकेट के लिए 132 रन की साझेदारी की थी
- श्रीलंका ने ऑस्ट्रेलिया को रोमांचक मैच में एक विकेट से मात दी थी
मेलबर्न: श्रीलंका के लसिथ मलिंगा को दुनिया के सर्वश्रेष्ठ तेज गेंदबाजों में से एक माना जाता है। लगातार चार गेंदों में चार विकेट लेने का कमाल दुनिया में लसिथ मलिंगा के अलावा कोई नहीं कर पाया है। मलिंगा ने कई बार हैट्रिक ली और अपनी गेंदबाजी के दम पर श्रीलंका को मैच जिताए। लसिथ मलिंगा का गेंदबाजी के दम पर श्रीलंका को मैच जिताना तो आम है, लेकिन हम जिस मैच की बात बताने जा रहे हैं, उसमें मलिंगा ने बतौर बल्लेबाज धमाल मचाया और विश्व चैंपियन ऑस्ट्रेलिया का घमंड चकनाचूर कर दिया था।
यह बात श्रीलंका के 2010 में ऑस्ट्रेलिया दौरे की है। कुमार संगकारा के नेतृत्व वाली श्रीलंकाई टीम ऑस्ट्रेलिया दौरे पर 3 वनडे और एक टी20 इंटरनेशनल मैच खेलने के लिए गई थी। 3 नवंबर 2010 को मेलबर्न में श्रीलंका और ऑस्ट्रेलिया के बीच मैच खेला जा रहा था। ऑस्ट्रेलियाई कप्तान माइकल क्लार्क ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी का फैसला किया। माइकल हसी (71*) और ब्रेड हैडिन (49) की दमदार पारियों की बदौलत मेजबान टीम ने निर्धारित 50 ओवर में 8 विकेट खोकर 239 रन बनाए। श्रीलंका की तरफ से थिसारा परेरा ने सबसे ज्यादा पांच विकेट चटकाए। लसिथ मलिंगा, नुवान कुलसेकरा और सूरज रणदीव को एक-एक सफलता मिली।
डोहर्टी के सामने श्रीलंका का सरेंडर
240 रन के लक्ष्य का पीछा करने उतरी श्रीलंकाई बल्लेबाजों ने बाएं हाथ के स्पिनर डोहर्टी के सामने सरेंडर कर दिया। जेवियर डोहर्टी ने श्रीलंका के मिडिल ऑर्डर को उखाड़ फेंका और इसका असर यह रहा कि मेहमान टीम के 8 विकेट केवल 107 रन के स्कोर पर पवेलियन लौट गए। जब श्रीलंका का आठवां विकेट गिरा तब केवल आधी पारी यानी 25 ओवर पूरे हुए थे। एंजेलो मैथ्यूज एक छोर पर टिके हुए थे। वह दूसरे छोर पर बल्लेबाजों को आउट होते हुए देख रहे थे। तब लसिथ मलिंगा क्रीज पर आए। श्रीलंका तब तक स्वाभाविक रूप से मैच से बाहर हो गया था।
ऑस्ट्रेलिया के बुरे हाल किए
लसिथ मलिंगा अब बल्लेबाज बनकर खेल रहे थे। इससे पहले वनडे में उनका सर्वश्रेष्ठ स्कोर 15 रन था। मलिंगा ने गेंदबाज के सिर के ऊपर से शॉट जमाने को अपना क्षेत्र बना लिया था। उन्होंने गेंदबाजों के ऊपर से मजेदार शॉट्स जमाए और बाउंड्री हासिल की। मलिंगा पर ऑस्ट्रेलियाई गेंदबाजों की एक भी नहीं चल रही थी। वह बस जगह बनाए और मौका देखकर गेंद को बाउंड्री पार पहुंचाने का काम कर रहे थे। मलिंगा की तकनीक बिलकुल एक पुछल्ले बल्लेबाज जैसी ही नजर आ रही थी, जो खड़े-खड़े गेंद को किसी भी क्षेत्र में भेजने का काम कर रहा हो।
एंजेलो मैथ्यूज के साथ मलिंगा ने 9वें विकेट के लिए 122 रन की साझेदारी की और श्रीलंका की मैच में न सिर्फ वापसी कराई, बल्कि उसे जीत की दहलीज पर पहुंचा दिया। मलिंगा ने 2007 विश्व कप चैंपियन ऑस्ट्रेलियाई टीम के गेंदबाजों का बहुत बुरा हाल किया और 48 गेंदों में 6 चौके व दो छक्के की मदद से 56 रन बनाए। यह मलिंगा के वनडे करियर का पहला अर्धशतक भी था। मलिंगा को स्मिथ ने रनआउट किया। जब वह आउट हुए तब श्रीलंका को जीत के लिए 1 रन की जरूरत थी। आखिरी बल्लेबाज मुथैया मुरलीधरन ने चौका जड़कर श्रीलंका की जीत पर मुहर लगाई।
श्रीलंका ने 44.2 ओवर में 9 विकेट खोकर हारी हुई बाजी को अपने नाम किया। ऑस्ट्रेलिया की तरफ से जेवियर डोहर्टी ने सबसे ज्यादा चार विकेट चटकाए। मिचेल जॉनसन और पीटर सिडल को एक-एक सफलता मिली। क्रिकेट फैंस लंबे समय तक लसिथ मलिंगा की यह पारी नहीं भूल सकते, जिसने विश्व चैंपियन ऑस्ट्रेलिया के घमंड को चकनाचूर किया था। बड़ी बात यह है कि इस मैच में लसिथ मलिंगा को मैन ऑफ द मैच नहीं चुना गया। एंजेलो मैथ्यूज को नाबाद 77 रन की पारी खेलने के लिए मैन ऑफ द मैच चुना गया था।