- बप्पी लहरी का जन्म 27 नवंबर 1952 को पश्चिम बंगाल के जलपाईगुड़ी में हुआ था।
- बप्पी लहरी ने गीतों में पॉप का तड़का लगाया, उनके पिता अपरेश लाहिड़ी बंगाली गायक थे
- उन्हें पहचान 1975 में आई फिल्म जख्मी से मिली, पहला ब्रेक था बंगाली फिल्म दादू
Bappi Lahiri 10 lesser known facts: बॉलीवुड के पहले रॉक स्टार, डिस्को किंग के नाम से मशहूर, हिंदी सिनेमा के महान संगीतकार और गायक बप्पी लहरी का जाना संगीत के स्वर्णिम युग के अंत की तरह है। 69 साल के बप्पी लहरी का मुंबई के एक अस्पताल में इलाज चल रहा था, जहां 15 फरवरी 2022 की रात 11 बजे उन्होंने अंतिम सांस ली। जैसे ही यह समाचार आया तो उनके फैंस को यकीन नहीं हुआ। जिसने भी यह खबर सुनी उसके कानों को भरोसा नहीं हुआ। हर किसी के दिल में यही ख्याल आया कि काश ये सच ना हो।
बॉलीवुड को रॉक और डिस्को से रू-ब-रू कराकर पूरे देश को अपनी धुनों पर थिरकाने वाले मशहूर संगीतकार और गायक बप्पी लहरी संगीत जगत को शोक में डालकर हमेशा के लिए अलविदा कह गए। हर कोई उन्हें फेसबुक, ट्विटर, इंस्टाग्राम पर श्रद्धांजलि दे रहा है। आइये जानते हैं बप्पी लहरी से जुड़ी 10 अनसुनी बातें-
10 Lesser known Facts of Bappi Lahiri
बप्पी लहरी का असली नाम
बप्पी लहरी का असली नाम बहुत कम लोगों को पता होगा। ताउम्र उनके चाहने वाले-पहचानने वाले उन्हें इसी नाम से पुकारते रहे। हालांकि उनका असली नाम अलोकेश लाहिड़ी था।
इन गानों से मिली पहचान (Bappi Lahiri Songs)
80 के दशक में उन्हें 'आई एम ए डिस्को डांसर' गाना गाया, जो बहुत पंसद किया गया। इसके अलावा जिम्मी, जिम्मी, याद आ रहा है, तम्मा तम्मा लोगे, दे दे प्यार दे, रात बाकी बात बाकी, आज रपट जाएं, ऊ ला ला, इंतहा हो गई इंतजार की जैसे गानों ने उन्हें लोकप्रिय बनाया।
3 साल की उम्र में सीखा तबला बजाना
बप्पी लाहिड़ी ने बॉलीवुड गीतों में पॉप का तड़का लगाया और भारतीय दर्शकों को एक नया स्वाद प्रदान किया। मशहूर संगीतकार और गायक बप्पी लाहिड़ी ने छोटी सी उम्र से ही गीत-संगीत की तैयारी शुरू कर दी थी। जब वह तीन साल के थे तो तबला बजाना सीखने लगे। किशोर कुमार उनके मामा थे और उन्हें ही बप्पी को संगीत के क्षेत्र में लाने का श्रेय जाता है। बप्पी लाहिड़ी जब 19 साल के थे तो कोलकाता से मुंबई आ गए थे।
ऐसे मिला मौका
साल 1973 में उन्हें 'नन्हा शिकारी' फिल्म में संगीत देने का काम मिला। उन्होंने अपने माता पिता से ही संगीत सीखा था और इससे पहले बंगाली फिल्म में गाना गाया था। उनके पिता अपरेश लाहिड़ी बंगाली गायक थे और मां बांसुरी लाहिड़ी संगीतकार थीं। हालांकि बप्पी लाहिड़ी को पहचान 1975 में आई फिल्म जख्मी से मिली। इस फिल्म में उन्होंने रफी और किशोर कुमार के साथ गाना गाया।
माइकल जैक्सन ने बुलाया
बप्पी लाहिड़ी भारतीय संगीत जगत के इकलौते ऐसे संगीतकार हैं जिन्हें माइकल जैक्सन ने अपने पहले शो में बुलाया था। 1996 में यह लाइव शो मुंबई में हुआ था। हिंदी संगीत में पॉप का मिश्रण लाने का श्रेय उन्हें ही जाता है। इस वजह से उनका भारी विरोध भी हुआ।
राजनीति में आजमाया हाथ (Bappi Lahiri in Politics)
बप्पी लाहिड़ी ने राजनीति में भी हाथ आजमाया। साल 2014 में बप्पी लाहिड़ी बीजेपी की टिकट पर पश्चिम बंगाल के सीरमपुर से लोकसभा चुनाव लड़ा लेकिन उन्हें हार मिली।
सोना पहने रहते थे बप्पी
27 नवंबर 1952 को कोलकाता में जन्में बप्पी लाहिड़ी हर समय सोने से लदे रहते थे। उनकी पहली चेन उनकी मां ने उन्हें गिफ्ट की थी वहीं दूसरी चेन उनकी पत्नी ने तोहफे में दी थी। साल 2014 में जब वह लोकसभा चुनावों में उतरे थे तब उन्होंने एफिडेविट जमा किया था जिसके मुताबिक उनके पास 754 ग्राम सोना था, जिसकी कीमत (उस समय) 17,67,451 लाख रुपये थी।
बप्पी लहरी नेट वर्थ (Bappi Lahiri Property)
वहीं उनके पास कुल 12 करोड़ रुपये की संपत्ति थी। इसके अलावा उनके पास 5 कारें थीं जिनमें बीएमडब्ल्यू और ऑडी शामिल हैं। इसके साथ ही बप्पी करीब 4.62 किलो के चांदी के गहने थे के पास 2,20,000 रुपये थी। बप्पी ने अपने घर में हिट गानों की याद में गोल्ड प्लेटेड डिस्क लगाई हुई थी।
बप्पी लहरी के नाम दर्ज हैं रिकॉर्ड (Bappi Lahiri Record)
एक रिपोर्ट के मुताबिक साल 1986 में उन्होंने 33 फिल्मों में 180 गाने गाए। उनका ये रिकॉर्ड गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में भी दर्ज है। उन्हें फिल्ममेयर की ओर से लाइफ टाइम अचीवमेंट अवॉर्ड से भी नवाजा जा चुका है।