- छठ का पहला अर्घ्य 20 और दूसरा 21 नवंबर को है
- छठ की संस्कृति में प्रसाद का बहुत महत्व है
- प्रसाद की चीजें सेहत के लिए बड़ी गुणकारी है
नई दिल्ली: पूर्वांचल की संस्कृति में छठ पूजा का विशेष महत्व है। छठ पूजा (Chhath Puja)हर वर्ष कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि को होती है। यानी दीपावली के ठीक छह दिन बाद छठ पूजा शुरू होती है। यह पर्व कुल मिलाकर चार दिन का होता है और दो दिन व्रती सुबह और शाम का अर्घ्य देते हैं। सुबह के अर्ध्य के बाद यह व्रत संपन्न होता है। छठ के प्रसाद में कई चीजें छठी मईयां को अर्पित की जाती है। आईए जानते हैं छठी मईयां को चढ़ाए जाने वाले पांच अहम प्रसाद के बारे में जो प्रसाद के साथ आपके शरीर के लिए भी कई मायनों में लाभकारी होते हैं।
ठेकुआ
छठ में सबसे अहम प्रसाद ठेकुआ होता है। ठेकुआ बिहार का एक पारंपरिक व्यजंन है और इसकी महत्ता छठ में बढ़ जाती है। छठ में ठेकुए का जिक्र ना हो यह नहीं हो सकता। छठ पूजा में यह प्रसाद गुड़ और आटे को मिलाकर बनाया जाता है । इसके बिना छठ की पूजा ही अधूरी मानी जाती है। इसके पीछे वैज्ञानिक तर्क है कि छठ के साथ सर्दी की शुरुआत हो जाती है और ठंड से बचने और सेहत को बेहतर रखने में गुड़ बेहद गुणकारी होता है।
गुड़ शरीर के लिए बेहद लाभकारी होता है। चूंकि ठेकुआ में खुरदुरे यानी दानेदार आटे का इस्तेमाल किया जाता है इसलिए यह आपके शरीर के लिए फाइबर का भी काम करता है। कुल मिलाकर ठेकुआ आपके शरीर में कैल्सियम की भी कमी पूरी करता है।
नारियल
छठ पूजा में छठी मैया को प्रसन्न करने के लिए नारियल को भी अर्पित किया जाता है। इसके पीछे वैज्ञानिक तर्क है कि मौसम में बदलाव की वजह से होने वाले सर्दी जुकाम की समस्या से यह बचाने में मदद करता है। नारियल आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता को भी बेहतर रखने मे आपकी मदद करता है। नारियल में कई पौष्टिक तत्व होते हैं जो आपके शरीर के लिए लाभकारी होते हैं।
डाभ नींबू
छठ में जो प्रसाद का एक सूप होता है जिसमें एक विशेष प्रकार का नींबू होता है जिसे डाभ नींबू भी कहते हैं। यह बाहर से पीला और अंदर से लाल होता है। यह कई पोषक तत्वों से भरपूर होता है और यह आपके इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाता है। यह बदलते मौसम में हमें बीमारियों से लड़ने की शक्ति प्रदान करता है।
चावल के लड्डू
छठ के प्रसाद में चावल के लड्डू भी होते है । इन लड्डूओं को खास तरीके से तैयार किया जाता है जिसमें सिर्फ चावल और चीनी का इस्तेमाल होता है। इसमें इस्तेमाल किए गए चावल धान की कई परतों से तैयार होते हैं। पौराणिक मान्यता है कि छठ पूजा में सूर्य को सबसे पहले नई फसल का प्रसाद अर्पण किया जाना चाहिए, इसलिए चावल के लड्डू को भोग में चढ़ाने की परंपरा है। चावल के लड्डू सेहत के लिए काफी गुणकारी होते हैं।
गन्ना यानी ईख
छठ पूजा के दौरान गन्ना का भी महत्व होता है। अर्घ्य देते समय पूजा की सामग्री में गन्ने का होना जरूरी होता है। ऐसी मान्यता है कि सूर्य की कृपा से ही फसल उत्पन्न होती है, इसलिए छठ पूजा में सूर्य को सबसे पहले नई फसल का प्रसाद अर्पण किया जाता है और गन्ना इस दौरान ही तैयार होता है।
गन्ना कैंसर से बचाव करने के साथ पाचन को ठीक रखता है । यह ह्रदय रोगों से बचाव के अलावा वजन कम करने में सहायक है।