- गेहूं दवा की तरह कई रोगों में काम आता है
- इसमें मौजूद आयरन, मैगनीज और कॉपर शरीर की कई कमियों को दूर करता है
- खांसी और कफ से परेशान हैं तो इसका प्रयोग जरूर करें
गेहूं का प्रयोग आपने रोटी, हलवा या दलिया के रूप में किया होगा। पर कभी सर्दी-खांसी या पथरी के इलाज के लिए इसका प्रयोग किया है?नही, तो आज यहां हम आपको गेहूं और उसे साथ कुछ चीजें मिला कर खाने के वो अचूक फायदे बताएंगे जो स्वास्थ्य के लिए ही नहीं बल्कि कई गंभीर बीमारियों में भी बेहद कारगर होते हैं। गेहूं बेहद आसानी से हर जगह मिल जाता है। इसमें मौजूद जिंक प्रोटीन के निर्माण तथा उपज की गुणवत्ता को बनाए रखता है वहीं बोरान कोशिकाओं के विभाजन और वृद्धि के लिए जरूरी है। इसमें मौजूद आयरन, मैगनीज , मोलिब्डेनम , सल्फर और कॉपर शरीर की कई कमियों को दूर करने के साथ बीमारियों को ठीक करने में भी काम आते हैं।
यहां आपको कई बीमारियों के इलाज के लिए गेहूं के दानों का ही प्रयोग करना होगा। इन दानों को पानी में भिगो कर, उबाल, भून कर कर या पेस्ट बना कर बीमारी के आधार पर प्रयोग करना होगा। इसलिए घर में गेहूं के दानों को रखना शुरू कर दें। तो आइए आज कुछ खास बीमारियो में गेहूं का प्रयोग कैसे करें यह जानें।
क्या है गेहूं के जादुई औषधिय गुण
1. यदि आप खांसी और कफ से परेशान हैं तो कम से कम 20 ग्राम गेहूं के दानों को लें और उसे करीब 250 ग्राम पानी में उबाले। उबालने के दौरान इसमें नमक भी मिला लें। जब पानी की मात्रा एक तिहाई हो जाए तो इस पानी को छान कर गरमा-गर्म ही सिप ले कर पीएं। रोज सुबह शाम इसे एक हफ्ते तक पीएं।
2. जिनकी स्मरण शक्ति कमजोर हो या पढ़ने वाले बच्चों को गेहूं से बने हरीरा में बादाम और चीनी मिलाकर रोज खिलाएं। ये याददाश्त बढ़ाने का सबसे बेहतरीन नुस्खा है।
3. कई बार ऐसे कीड़े या मच्छर काट लेते हैं कि खुजली खत्म ही नहीं होती। बरसात में फोड़े-फुंसी भी बहुत होते हैं। तो ऐसे में आप गेहूं के दानों को भिगो कर पीस लें या गेहूं के आटे को गूथ कर प्रभावित जगह पर लगा दें। अगर कोई जहरीला कीड़ा काट ले तो गेहूं के आटे में सिरका मिलाकर प्रभावित जगह पर लगाएं। तुरंत आराम मिलेगा।
4. आज कल पथरी की समस्या बहुत आम हो गई है। अगर आप भी पथरी से जूझ रहे तो आप गेहूं और चने के दानों को उबाल कर उसके बचे पानी को पीएं। ऐसा करने से किडनी कि पथरी बाहर आ जाती है।
5. यदि आप फैक्चर के शिकार हो गए हैं तो आप गेहूं के दानों का तवे पर भून कर भूरा कर लें। इसके बाद इसे पीस लें। अब इस चूर्ण में आप शहद मिला कर चाटना शुरू कर दें। कुछ ही दिनों में आपकी समस्या दूर हो जाएगी।
गेहूं के दानों का उपयोग जब आप करें तो ध्यान दें कि गेहूं बहुत पुराना न हो। इसे हमेशा भिगा कर और अच्छी तरह से धो कर ही प्रयोग करें।
डिस्क्लेमर: प्रस्तुत लेख में सुझाए गए टिप्स और सलाह केवल आम जानकारी के लिए हैं और इसे पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जा सकता।
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