नई दिल्ली: रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह आत्मनिर्भर भारत के मिशन को आगे बढ़ाते हुए सोमवार, 11 जुलाई को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस से जुड़े 75 अलग-अलग रक्षा उत्पादों का लॉंच करेंगे। यह लांच देश की पहली आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस प्रदर्शनी में किया जाएगा जिसे रक्षा मंत्रालय के डिपार्टमेंट ऑफ डिफेंस प्रोडक्शन आयोजित कर रहा है। ये आयोजन भारत के आजादी का अमृत महोत्सव के तहत आत्मनिर्भर भारत के मिशन को और मजबूत करने के लिए किया जा रहा है।
इस विशेष आयोजन में देश के आधुनिकतम एआई इनेबल सलूशन के जरिए विकसित 75 उत्पादों को लांच किया जाएगा जिन्हें भारतीय सेना, रिसर्च ऑर्गेनाइजेशंस, स्टार्टअप और इन्नोवेटर्स ने विकसित किया है।
क्या है इन 75 प्रोडक्ट्स की खूबियां?
रक्षा सचिव डॉ अजय कुमार ने कहा कि ये 75 प्रोजेक्ट रोबोटिक सिस्टम, साइबर सिक्योरिटी, हुमन बिहेवियर एनालिसिस, इंटेलिजेंट मॉनिटरिंग, सप्लाई चेन मैनेजमेंट, वॉइस एनालिसिस, कमांड कंट्रोल कम्युनिकेशन कंप्यूटर, इंटेलिजेंस सर्विलांस और रीकनेसेंस के साथ ही ऑपरेशनल डाटा एनालिसिस करने में भी सक्षम है। पहले फेज में इन 75 रक्षा उत्पादों के लांच के अलावा जल्द ही ऐसे ही सौ और उत्पादों को भी लॉन्च किया जाएगा जो अभी विकसित किए जा रहे हैं।
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मित्र देशों के प्रतिनिधि भी होंगे आयोजन में शामिल
सोमवार को विज्ञान भवन में होने वाले इस आयोजन में रक्षा मंत्री, सरकार के कई मंत्री, रक्षा मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों के अलावा मित्र देशों के प्रतिनिधियों के शामिल होने की बात भी बताई जा रही है ताकि पूरी दुनिया को पता चल सके कि भारत तकनीक के आधार पर अपनी सेनाओं को आत्मनिर्भरता के साथ मजबूत बना रहा है।
मॉनिटरिंग के लिए होता है एआई डिवाइस का इस्तेमाल
पिछले कुछ सालों से जम्मू कश्मीर, लद्दाख और देश के पश्चिमी बॉर्डर पर भारतीय सेना, बीएसएफ और वायु सेना निगरानी के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस से बने डिवाइस का इस्तेमाल कर रही है। यह डिवाइस उन इलाकों में बेहद कारगर है जहां सैनिकों का पहुंचना मुश्किल होता है। साथ ही एआई से मिली सूचनाएं सटीक साबित होती है। अब भारत में बने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस डिवाइसेस के जरिए देश की सीमाओं पर सेना को नई ताकत मिलेगी।