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बच्चों के लिए कोरोना का टीका जल्द! कर्नाटक में 20 बच्चों पर जायकोव-डी वैक्सीन का सफल परीक्षण  

Jeevan Rekha Hospital in Belagavi has conducted COVID vaccine clinical trails on children
Updated May 21, 2021 | 08:37 IST

बेलगावी के जीवन रेखा अस्पताल ने जायडस कैडिला के स्वदेशी कोरोना टीके जायकोव-डी का क्लिनिकल ट्रायल 20 बच्चों पर किया है। इस परीक्षण के बाद बच्चों के लिए टीके की उम्मीद बढ़ गई है।

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Jeevan Rekha Hospital in Belagavi has conducted COVID vaccine clinical trails on childrenJeevan Rekha Hospital in Belagavi has conducted COVID vaccine clinical trails on children
तस्वीर साभार:&nbspPTI
कर्नाटक में 20 बच्चों पर जायकोव-डी वैक्सीन का सफल परीक्षण।
मुख्य बातें
  • जीवन रेखा अस्पताल ने जायडस कैडिला के स्वदेशी कोरोना टीके जायकोव-डी का परीक्षण किया
  • अस्पताल ने 20 बच्चों पर किया क्लिनिकल ट्रायल, परीक्षण सफल रहा, टीके की उम्मीद जगी
  • कोरोना की तीसरी लहर में बच्चों के निशाना बनने की है आशंका, राज्य अभी से तैयारी में जुटे

बेलगावी : कोरोना की तीसरी लहर में बच्चों पर खतरे की आशंका को देखते हुए इनके लिए टीका विकसित करने में कई कंपनियां जुटी हैं। इसी बीच, बेलगावी के जीवन रेखा अस्पताल ने जायडस कैडिला के स्वदेशी कोरोना टीके जायकोव-डी का क्लिनिकल ट्रायल 20 बच्चों पर किया है। अस्पताल के निदेशक डॉ. अमित भाटे का कहना है कि यह ट्रालय 12 से 18 साल के बच्चों पर हुआ है। डॉ. भाटे का कहना है कि क्लिनिकल ट्रायल के दौरान 20 बच्चों को टीके की तीन खुराकें दी गईं।

अस्पताल का दावा-बच्चों में कोई परेशानी नहीं
उन्होंने बताया कि बच्चों को पहला डोज देने के बाद टीके दूसरी खुराक 28 दिनों के बाद और तीसरी डोज 56 दिनों के बाद दी गई।अस्पताल का दावा है कि ट्रायल के दौरान बच्चों में किसी तरह की परेशानी नहीं देखी गई। अस्पताल अगले एक साल तक बच्चों की निगरानी करेगा।

बच्चों के स्वास्थ्य पर अस्पताल की नजर
यह अस्पताल देश के उन 21 केंद्रों में से एक है जहां पिछले साल कोवाक्सिन का क्लिनिकल ट्रायल सफलतापूर्वक हुआ। रिपोर्टों के मुताबिक डॉ. भाटे का कहना है कि उनका अस्पताल पिछले दो महीने से सभी 20 बच्चों के स्वास्थ्य पर नजर बनाए हुए है। इस दौरान सभी बच्चों की सेहत ठीक पाई गई। डॉक्टर का कहना है कि सभी अभिभावकों ने स्वेच्छा से बच्चों के क्लिनिकल ट्रायल की मंजूरी दी। उन्होंने कहा, 'बच्चों पर परीक्षण करने से पहले सभी अभिभावकों की ऑडियो एवं वीडियो सहमति ली गई। हमें खुशी है कि ट्रायल के दौरान सभी बच्चों ने सहयोग किया।'

अन्य केंद्रों पर भी हो रहा परीक्षण
डॉ. भाटे ने बताया कि क्लिनिकल ट्रायल की सफलता देखने के बाद बच्चों पर जायकोव-डी का ट्रायल देश के 30 केंद्रों पर हो रहा है। उन्होंने कहा कि बच्चों पर ट्रायल भी सफल होंगे। 

तीसरी लहर में बच्चों बन सकते हैं निशाना
देश अभी कोरोना के तीसरी लहर के प्रकोप का सामना कर रहा है। भारत सरकार के प्रधान वैज्ञानिक सलाहकार के विजयराघवन ने गत पांच मई को कहा कि देश में कोरोना की तीसरी लहर आनी तय है और इस लहर में बच्चों के महामारी की चपेट में आने का खतरा है। सुप्रीम कोर्ट ने भी सरकार से तीसरी लहर की तैयारी अभी से शुरू करने के लिए कहा है। कई राज्य तीसरी लहर की तैयारी में जुटे हैं। 

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