- कर्नाटक में नेतृत्व बदलना चाहती है भाजपा
- येदियुरप्पा से पार्टी के भीतर नाराजगी बन रही है
- पार्टी ने येदियुरप्पा को बदलाव का संकेत दे दिया है
नई दिल्ली: वयोवृद्ध भाजपा नेता बी एस येदियुरप्पा के कर्नाटक के मुख्यमंत्री के रूप में दिन पूरे माने जा रहे हैं। उनकी सरकार 26 जुलाई को अपने कार्यकाल का दूसरा वर्ष पूरा कर रही है। उससे पहले येदियुरप्पा की विदाई की खबरें चर्चा में हैं। इसी बीच कर्नाटक सीएम ने दिल्ली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, बीजेपी राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा, गृह मंत्री अमित शाह और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से मुलाकात की।
'द इंडियन एक्सप्रेस' की खबर के अनुसार, नई दिल्ली यात्रा के दौरान पार्टी नेतृत्व द्वारा नेतृत्व में बदलाव की आवश्यकता का सुझाव दिया गया है। एक सूत्र ने कहा, 'यह सिर्फ समय की बात है... वह (येदियुरप्पा) चाहते थे कि पार्टी नेतृत्व उत्तराधिकारी चुने लेकिन यह उनकी सहमति से होगा।' पार्टी के एक वरिष्ठ नेता ने कहा, 'ऐसा लगता है कि केंद्रीय नेतृत्व ने उनके बाहर निकलने का समय तय करने का काम मुख्यमंत्री पर छोड़ दिया है।'
हालांकि 78 वर्षीय येदियुरप्पा ने खुद नेतृत्व परिवर्तन से इनकार किया। उन्होंने कहा, 'सभी ने मुझसे पार्टी को मजबूत करने के लिए कहा है। पीएम मोदी ने यही बात कही थी और नड्डा जी और राजनाथ सिंह जी और अमित शाह जी ने भी यही बात कही। मैंने कहा है कि मैं पीछे नहीं हटूंगा और पार्टी को सत्ता में वापस लाने के लिए दिन-रात काम करूंगा। मैंने उनसे कहा कि मैं अगले लोकसभा चुनाव में पार्टी को फिर से 25 सीटें जीतने में मदद करने के लिए काम करूंगा।'
उम्र और परिवार के हस्तक्षेप से उठ रहे सवाल
इस बीच येदियुरप्पा ने 26 जुलाई 2021 को विधायक दल के विधायकों और मंत्रियों की बैठक बुलाई है। इसे भी लेकर संकेत मिल रहे हैं कि वो इस दिन अपने इस्तीफे की घोषणा कर सकते हैं। सूत्रों ने कहा कि येदियुरप्पा को संकेत मिले हैं कि उन्हें अपनी बढ़ती उम्र, स्वास्थ्य संबंधी चिंताओं और छवि बदलाव की आवश्यकता के कारण बागडोर सौंपनी चाहिए। उनके परिवार के सदस्यों द्वारा कथित तौर पर सीएम कार्यालय का दुरुपयोग करने के आरोप में भ्रष्टाचार के आरोपों ने उन्हें घेर लिया है। कर्नाटक भाजपा के कुछ असंतुष्ट नेता येद्दियुरप्पा और उनके परिवार पर भ्रष्टाचार तथा प्रशासन में हस्तक्षेप के आरोपों को लेकर निशाना साध रहे हैं, जिससे पार्टी तथा सरकार की फजीहत हुई है। पार्टी का एक अन्य धड़ा येद्दियुरप्पा (79) की उम्र का हवाला देते हुए उन्हें पद से हटाने की मांग कर रहा है तथा 2023 के विधानसभा चुनावों में मुख्यमंत्री का नया चेहरा पेश करने की जरूरत पर जोर दे रहा है।