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मुख्य बातें
- पीएम नरेंद्र मोदी ने 59वीं बार की 'मन की बात', बच्चों के सवालों के दिए जवाब
- अयोध्या राम मंदिर मामले पर आए सुप्रीम कोर्ट के फैसले का किया जिक्र
- 'परीक्षा पर चर्चा' कार्यक्रम को लेकर बोले पीएम- इस बार जनवरी में करेंगे आयोजन
नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रविवार को अपने रेडियो कार्यक्रम 'मन की बात' के 59वें संस्करण को संबोधित किया। पीएम नरेंद्र मोदी ने इस बार बच्चों से बातचीत की और अलग- अलग बातों पर उनके अनुभव जाने। साथ ही बच्चों के सवालों के जवाब भी दिए। पीएम नरेंद्र मोदी ने बच्चों से जुड़े कार्यक्रम 'परीक्षा पर चर्चा' कार्यक्रम का भी जिक्र किया और कहा कि इस बार कार्यक्रम को पहले की अपेक्षा जल्दी जनवरी महीने में आयोजित करने की कोशिश की जाएगी। उन्होंने अयोध्या पर आए सुप्रीम कोर्ट के फैसले का जिक्र भी मन की बात में किया।
'मन की बात' में बोले पीएम नरेंद्र मोदी-
- 26 नवंबर को हम ‘संविधान दिवस’ के रूप में मनाते हैं। इस बार संविधान को अपनाने के 70 साल पूरे हो रहे हैं। इस बार इस अवसर पर पार्लियामेंट में विशेष आयोजन होगा और फिर साल भर पूरे देशभर में अलग-अलग कार्यक्रम होंगे
- कभी-कभी जीवन में, छोटी-छोटी चीजें भी हमें बहुत बड़ा संदेश देती हैं। अगर, हम भी, सिर्फ अपने आस-पास के इलाके को प्लास्टिक के कचरे से मुक्त करने का संकल्प कर लें तो फिर ‘प्लास्टिक मुक्त भारत’ पूरी दुनिया के लिए एक नई मिसाल पेश कर सकता है।
- संयुक्त राष्ट्र ने 2019 को ‘International Year of Indigenous Languages’ (स्वदेशी भाषाओं का अंतर्राष्ट्रीय वर्ष) घोषित किया है और इसमें ऐसी स्थानीय भाषाओं को संरक्षित करने पर जोर दिया जा रहा है जो विलुप्त होने की कगार पर हैं।
- हमारी भारत भूमि पर सैकड़ों भाषाएं सदियों से पुष्पित पल्लवित होती रही हैं। हालांकि, हमें इस बात की भी चिंता होती है कि कहीं भाषाएं, बोलियां ख़त्म तो नहीं हो जाएगी। पिछले दिनों मुझे उत्तराखंड के धारचुला की कहानी पढ़ने मिली। मुझे काफी संतोष मिला।
- पिथौरागढ़ के धारचूला में, रंग समुदाय के काफ़ी लोग रहते हैं, इनकी, आपसी बोल-चाल की भाषा रगलो है। इस समुदाय के लोगों की संख्या, गिनती भर को है। लेकिन रंग भाषा को बचाने के लिए हर कोई जुट गया, चाहे, चौरासी साल के बुजुर्ग दीवान सिंह हों या बाईस वर्ष की युवा वैशाली गर्ब्याल प्रोफ़ेसर हों या व्यापारी, हर कोई, हर सम्भव कोशिश में लग गया।
- देश में, शांति, एकता और सदभावना के मूल्य सर्वोपरि हैं। राम मंदिर पर जब सुप्रीम कोर्ट का फैसला आया तो पूरे देश ने उसे दिल खोलकर गले लगाया। पूरी सहजता और शांति के साथ स्वीकार किया। यह हमारी समाजिक भावना और न्यायपालिका पर विश्वास को मजबूर करता है।
- पीएम मोदी ने कहा कि हम सबको परीक्षा के भय को भगाना है। मेरे युवा-साथी परीक्षाओं के समय हंसते-खिलखिलाते दिखें, माता-पिता तनाव मुक्त, शिक्षक आश्वस्त हों, इसी उद्देश्य को लेकर हम परीक्षा पर चर्चा करेंगे। एग्जाम वॉरियर किताब के माध्यम से लगातार प्रयास कर रहें हैं।
- मन की बात में पीएम मोदी ने अयोध्या मामले पर आए फैसले का भी जिक्र किया और कहा कि अयोध्या मामले पर 9 नवम्बर को सुप्रीम कोर्ट का फैसला आया, तो 130 करोड़ भारतीयों ने फिर ये साबित कर दिया कि उनके लिए देशहित से बढ़कर कुछ नहीं है। देश में, शांति, एकता और सदभावना के मूल्य सर्वोपरि हैं।