- देश में कोरोना टीकाकरण अभियान पर स्वास्थ्य मंत्री ने दी अहम जानकारी
- केंद्रीय मंत्री हर्षवर्धन ने कहा कि 50 साल से कम आयु वाले को भी लगेगा टीका
- कोरोना टीके के लिए सरकार किसी को बाध्य नहीं करेगी, हिचकिचाहट दूर करेगी
नई दिल्ली : केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन ने भारत में कोरोना टीका अभियान से जुड़ी कई अहम जानकारियां दी हैं। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा है कि विशेषज्ञों के साथ बातचीत के बाद हमने पहले चरण में 30 करोड़ लोगों को टीका दिया जाना तय किया है। पहले चरण में स्वास्थ्यकर्मियों, पुलिस, सेना और सेनिटाइजेशन में लगे फ्रंटलाइन के कर्मचारियों, 50 साल के ऊपर लोगों और कुछ विशेष बीमारियों से ग्रस्त 50 साल के नीचे के व्यक्तियों को कोरोना का टीका लगाया जाएगा। हर्षवर्धन ने कहा कि सरकार की कोशिश सभी नागरिकों को टीका लगाने की है। साथ ही टीके को लेकर जो हिचकिचाहट सरकार उसे भी दूर करने की कोशिश करेगी। उन्होने कहा कि यदि कोई व्यक्ति कोरोना का टीका नहीं लगवाना चाहता है तो सरकार उसे इसके लिए बाध्य नहीं करेगी।
कोरोना पर नियंत्रण पाएंगे-हर्षवर्धन
यह पूछे जाने पर कि क्या पोलियो की तरह ही कोरोना वायरस को भी खत्म किया जा सकेगा। इस पर समाचार एजेंसी एएनआई के साथ बातचीत में केंद्रीय मंत्री ने कहा कि वैज्ञानिक तरीके से पोलियो को खत्म करना संभव हो सका। इसी तरह से कोरोना वायरस पर भी हम नियंत्रण पाएंगे। कोरोना टीकाकरण अभियान पर स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि हमने राज्य, जिला और ब्लॉक स्तर पर टास्क फोर्स बनाए हैं। देश भर में हजारों की संख्या में मास्टर ट्रेनर तैयार किए गए हैं।
टीके के लिए 20 हजार से ज्यादा कर्मी प्रशिक्षित
केंद्रीय मंत्री ने कहा, 'हमने राज्य स्तर पर प्रशिक्षण दिया है और करीब 260 जिलों में 20,000 से ज्यादा कर्मियों को प्रशिक्षित किया है। राज्य सरकारों के साथ मिलकर केंद्र सरकार पिछले चार महीनों से राज्य, जिला एवं ब्लॉक स्तर पर तैयारी कर रही है। हमारी पहली प्राथमिकता टीके की सुरक्षा एवं उसकी प्रभावी बने रहने पर है। हम इस पर कोई समझौता नहीं करना चाहते। मेरा व्यक्तिगत रूप से मानना है कि जनवरी महीने में हम लोगों को कोरोना का पहला टीका लगाने की स्थिति में होंगे।'
देश में 95 लाख से ज्यादा लोग ठीक हुए
स्वास्थ्य मंत्री ने आगे कहा, 'भारत में अभी कोरोना के तीन लाख एक्टिव केस हैं। कुछ महीने पहले यह संख्या 10 लाख के करीब थी। देश में कुल एक करोड़ मामलों में 95 लाख से ज्यादा लोग ठीक हो चुके हैं। दुनिया में हमारी रिकवरी रेट सबसे ज्यादा है। मेरा मानना है कि कोरोना का सबसे खराब दौर शायद बीत चुका है लेकिन हमें एहतियात बरतने की जरूरत है। हमें कोविड-19 प्रोटोकॉल का कड़ाई से पालन करना है। हम लापरवाह रवैया नहीं अख्तियार कर सकते। हमें मास्क, हाथ की सफाई और सोशल डिस्टैंसिंग का पालन आगे भी करते रहना होगा।'