- पुलवामा आतंकी हमले को पूरा हुआ एक साल, CRPF के काफिले पर हुआ था भीषण हमला
- 350 किलो विस्फोटक के साथ- आत्मघाती हमलावर ने जवानों के ट्रक से टकराई थी कार
- 40 जवानों ने दी थी शहादत, भारतीय वायुसेना ने पाकिस्तान में घुसकर की थी कार्रवाई
नई दिल्ली: पुलवामा के वादियों में गूंजी धमाके की वो गूंज शायद ही देश कभी भूल पाएगा। उस भीषण आतंकवादी हमले को एक साल गुजर चुका है। बीते साल इसी दिन जैश-ए-मोहम्मद के आतंकवादियों ने इस नापाक मंसूबे को अंजाम दिया था। सीआरपीएफ के काफिले पर भारत को जम्मू कश्मीर और लद्दाख से जोड़ने वाले इकलौते जम्मू-श्रीनगर हाईवे पर हमला हुआ। हाईवे पर आतंकियों ने कायराना हरकत करते हुए सुरक्षाबलों को उस समय निशाना बनाया जब वह अपने ट्रक में सवार होकर जा रहे थे। 14 फरवरी 2019 की दोपहर 3.30 बजे 20 साल के आदिल अहमद डार ने 350 किलो बम भरकर कार को सीआरपीएफ जवानों के ट्रक से टकरा दिया।
एक बार फिर सुरक्षाबलों को बनाया निशाना: आतंकियों के सुरक्षा प्रतिष्ठानों और जवानों को निशाना बनाने की सोच पहले भी सामने आ चुकी थी। पुलवामा से पहले उरी में सोते हुए सेना के जवानों पर कायराना हमला हुआ था और उरी हमले की ही तरह पुलवामा के बाद भी लोगों में भारी गुस्सा देखने को मिला। उरी के बाद भारतीय सेना के पैरा कमांडो ने पीओके में घुसकर सर्जिकल स्ट्राइक की थी और एक बार फिर ऐसी ही मांग उठ रही थी। आतंकवादी हमले की जिम्मेदारी आतंकवादी संगठन जैश-ए-मोहम्मद ने ली। साथ ही आत्मघाती हमलावार आदिल अहमद डार का वीडियो भी जारी किया।
भीषण धमाके में बिखर गए शवों के टुकड़े: भीषण हमले के बाद घायल सेना के जवानों और शवों को उठाने का काम शुरु हुआ और विस्फोट इतना भीषण था कि कई शव के टुकड़े होकर इधर उधर बिखर गए थे। स्थिति बहुत भयावह थी। खबरें लगातार बाहर आती रहीं और लोगों में रोष बढ़ता चला गया। मारे गए जवान 34वीं, 54वीं और 179वीं बटालियन का हिस्सा थे।
क्या रही वजह: दरअसल कभी अगर सुरक्षाबलों का काफिला घाटी के किसी इलाके से होकर गुजरता है तो आम लोगों की आवाजाही को बाधित नहीं किया जाता है। इसी का फायदा उठाते हुए सीआरपीएफ के काफिले पर हमला किया गया। हमले में दो गाड़ियों को निशाना बनाया गया। धमाके के बाद जवान एक्शन में आए और आतंकी मौके से भाग निकले।
प्रधानमंत्री बोले- बहुत बड़ी कीमत चुकाएंगे आतंकी: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी साफ-साफ संकेत दिए पुलवामा आतंकी हमले पर जवाबी कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने अपनी जनसभा में कहा कि पुलवामा में सुरक्षा बलों पर हमला करने वाले बहुत बड़ी गलती कर चुके हैं और उन्हें इसकी बहुत बड़ी कीमत चुकानी पड़ेगी। उन्होंने जनता से संवाद में कहा- 'जो आपके दिल में है, वही मेरे दिल पर भी बीत रही है।'
बालाकोट में वायुसेना के मिराज 2000 ने बरसाए बम: लगातार आतंकियों पर कार्रवाई की चर्चा के बीच भारतीय वायुसेना को पाकिस्तान के अंदर जैश-ए-मोहम्मद के आतंकी टेरर कैंप पर हमला करने की जिम्मेदारी सौंपी गई। 28 फरवरी 2019 को भारतीय वायुसेना के मिराज 2000 लड़ाकू विमानों ने पाकिस्तान के बालाकोट में आतंकी टेरर कैंप को स्पाइस 2000 बम गिराकर तबाह कर दिया।
पूरे देश में भारत की पाकिस्तान में आतंक के अड्डों पर कार्रवाई की खबर फैल गई और लोगों का गुस्सा इसके बाद जाकर शांत हुआ। इसके बाद पाकिस्तान के जवाबी हमला करने की कोशिश की लेकिन भारतीय वायुसेना ने एक पाक एफ-16 विमान मार गिराते हुए नापाक मंसूबों को नाकाम कर दिया। एनआईए ने बुधवार को जैश-ए-मोहम्मद के आतंकियों के खिलाफ पुलवामा को लेकर चार्जशीट दायर की है।