- सीमा पर चीन के साथ जारी विवाद के बीच काफी अहम है इन पुलों का उद्घाटन
- चीन से लगती सीमा पर अपनी परियोजनाओं को तेजी के साथ पूरा कर रहा भारत
- इन पुलों के जरिए सेना को अपने भारी हथियार अग्रिम मोर्चों तक ले जाना होगा आसान
नई दिल्ली : रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह गुरुवार को 43 पुल देश को समर्पित करेंगे। ये पुल लद्दाख, अरुणाचल प्रदेश, सिक्किम, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब और जम्मू कश्मीर में स्थित हैं जिनका निर्माण सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) ने किया है। चीन के साथ जारी सीमा विवाद के बीच इन पुलों का उद्घाटन काफी अहम माना जा रहा है। समझा जाता है कि इन पुलों के शुरू हो जाने पर सीमा पर सेना को अपने हथियार एवं उपकरण ले जाने में मदद मिलेगी। रक्षा मंत्री वीडियो कॉन्फ्रेंसिंक के जरिए इन सभी पुलों को देश को समर्पित करेंगे।
सात पुल लद्दाख में स्थित हैं
इन 43 पुलों में सात लद्दाख में हैं। एक आधिकारिक बयान में कहा गया, 'रक्षा मंत्री गुरुवार को एक ऑनलाइन कार्यक्रम में सात राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों में इन पुलों का उद्घाटन करेंगे।' बीआरओ की तरफ से इन पुलों का निर्माण ऐसे समय किया गया है जब पूर्वी लद्दाख सहित वास्तविक नियंत्रण रेखा पर भारत और चीन के बीच तनाव चरम पर है। इनमें से 10 पुल जम्मू-कश्मीर, दो हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड एवं अरुणाचल में आठ-आठ पुल, सिक्किम एवं पंजाब में चार-चार पुल स्थित हैं। अधिकारियों का कहना है कि रक्षा मंत्री अरुणाचल प्रदेश के तवांग में सामरिक रूप से महत्वपूर्ण एक रोड पर नेचिफू सुरंग की आधारशिला भी रखेंगे।
चीन सीमा पर अपनी परियोजनाओं को पूरा कर रहा भारत
चीन के साथ जारी विवाद के बीच भारत एलएसी पर अपनी बुनियादी सुविधाएं तेजी से बढ़ाने के साथ-साथ अधूरी परियोजना को जल्द पूरा करने के लिए तेजी से काम कर रहा है। हिमाचल प्रदेश के दर्जा को लद्दाख से जोड़ने वाली सामरिक रूप से महत्वपूर्ण सड़क सहित कई परियोजनाओं पर बीआरओ तेजी के साथ काम कर रहा है। यह 290 किलोमीटर लंबी सड़क ऊंचाई वाले स्थानों से गुजरेगी। इस सड़क के बन जाने पर लद्दाख क्षेत्र के अग्रिम मोर्चों तक सेना को अपने भारी हथियार पहुंचाने में आसानी होगी। यह नहीं यह सड़क कारगिल इलाके के लिए एक महत्वपूर्ण लिंक साबित होगी।