- इस बार पीएम, सीडीएस और तीनों सेवा प्रमुख 26 जनवरी को राष्ट्रीय युद्ध स्मारक पर श्रद्धांजलि अर्पित करेंगे
- इस बार परेड का मुख्य आकर्षण होगा राफेल लड़ाकू विमान
- ब्राजील के राष्ट्रपति जेअर बोल्सोनारो चीफ गेस्ट के रूप में समारोह में करेंगे शिरकत
नई दिल्ली: आज गणतंत्र दिवस की फुल ड्रेस रिहर्सल हुई। परेड ठीक उसी तरह हुई जैसे 26 जनवरी को राजपथ पर हुई। इस बार गणतंत्र दिवस में कई परंपराएं बदलेंगी। परेड शुरू होने से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस बार सबसे पहले राष्ट्रीय युद्ध स्मारक पर श्रद्धांजलि अर्पित करेंगे। इस दौरान तीनों सेना प्रमुखों के अलावा वहां सीडीएस जनरल रावत भी मौजूद रहेंगे।
इस समारोह में प्रधानमंत्री सहित कई जानी मानी हस्तियां शामिल होंगी। राजपथ को छावनी में तब्दील किया गया है। इस बार रिपब्लिक डे के मौके पर ब्राजील के राष्ट्रपति जेअर बोल्सोनारो चीफ गेस्ट के रूप में समारोह में शिरकत करेंगे।
इस बार गणतंत्र दिवस में कई ऐसी चीजें हैं जो पहली बार होंगी तो आईए एक नजर डालते हैं इस बार की परेड के मुख्य आकर्षणों पर-
पहली बार राष्ट्रीय युद्ध स्मारक पर पहुंचेंगे पीएम मोदी: इस साल गणतंत्र दिवस पर इंडिया गेट स्थित अमर जवान ज्योति पर माल्यार्पण भी नहीं होगा। प्रधानमंत्री, सीडीएस और तीनों सेवा प्रमुख 26 जनवरी को राष्ट्रीय युद्ध स्मारक पर श्रद्धांजलि अर्पित करेंगे। गणतंत्र दिवस परेड कमांडर मेजर जनरल आलोक कक्कड़ ने बताया, "पहली बार, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी गणतंत्र दिवस पर राष्ट्रीय युद्ध स्मारक का दौरा करेंगे, जहां उनकी अगवानी तीनों सेना प्रमुखों द्वारा की जाएगी।
राफेल लड़ाकू विमान: इस बार परेड का मुख्य आकर्षण होगा राफेल लड़ाकू विमान। पिछले साल दशहरे के दिन फ्रांस ने पहला लड़ाकू विमान भारत को सौंपा था और अभी तक चार राफेल लड़ाकू विमान भारत को मिल चुके हैं।
चिनूक और अपाचे हेलीकॉप्टर: इस बार गणतंत्र दिवस की परेड में पहली बार चिनूक और अपाचे हेलीकॉप्टर को शामिल किया गया है। चिनूक एक ऐसा हेलीकॉप्टर है जिसका प्रयोग 19 देशों की सेनाएं करती हैं और यह किसी भी मौसम में उड़ान भर सकता है। इसी तरह अपाचे हेलीकॉप्टर दो पायलटों वाला हेलीकॉप्टर है जिसका निशाना बेहद सटीक है।
के-9 वज्र-टी- देश में निर्मित हॉवित्जर तोप के-9 वज्र-टी की लम्बी दूरी तक मार करने की क्षमता का परीक्षण किया। 50 टन की यह तोप 47 किलोग्राम के गोले 43 किलोमीटर की दूरी तक दाग सकती है। पहली बार यह तोप राजपथ पर दिखाई देगी।
विक्रांत एयरक्राफ्ट कैरियर- देश के पहले स्वदेशी विमान वाहक जहाज विक्रांत का निर्माण कार्य अभी तीसरे चरण में है और 2021 तक पूरा होने की संभावना है। इस बार इसे नौसेना की झांकी में शामिल किया जाएगा।