- स्वच्छ सर्वेक्षण 2021 के विजेताओं को राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद आज सम्मानित करेंगे
- इसमें 4,000 से अधिक शहरों ने भाग लिया, जिसे दुनिया का सबसे बड़ा स्वच्छता सर्वे कहा जाता है
- सर्वेक्षण में 342 शहरों को साफ-सफाई और कचरा मुक्त होने के लिए स्टार रेटिंग मिली है
नई दिल्ली : स्वच्छ सर्वेक्षण 2021 का परिणाम आज (20 नवंबर, शनिवार) सामने आएगा, जिसमें 4 हजार से अधिक शहरों ने हिस्सा लिया था। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद विजेताओं का ऐलान करेंगे और उत्कृष्ट कार्य करने वाले नगर निगमों को सम्मानित भी करेंगे। भारत को कचरा-मुक्त बनाने के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विजन के तहत यह सर्वे केंद्रीय आवासन एवं शहरी कार्य मंत्रालय की ओर से आयोजित किया गया था, जिसमें शहरों में स्वच्छता की स्थिति का आकलन किया गया। इंदौर के लगातार पांचवीं बार सबसे स्वच्छ शहर घोषित होने की जानकारी सामने आई है।
केंद्रीय आवासन एवं शहरी कार्य मंत्रालय के अनुसार, इस सर्वेक्षण में 342 शहरों को साफ-सफाई और कचरा मुक्त होने के लिए स्टार रेटिंग मिली है। इन शहरों के स्थानीय निकायों को यह सम्मान दिया जाएगा, जिसके लिए राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली के विज्ञान भावन में 'स्वच्छ अमृत महोत्सव' का आयोजन किया जा रहा है। इसमें 'सफाईमित्र सुरक्षा चुनौती' के तहत उन सफाईकर्मियों के प्रति सम्मान व श्रद्धांजलि अर्पित की जाएगी, जो सेप्टिक टैंक और सीवर की सफाई के लिए उसके भीतर उतरते रहे हैं और कई बार इससे निकलने वाली जहरीली गैस की चपेट में आकर जान भी गंवाई है।
4 हजार से अधिक शहरों की सर्वे में भागीदारी
मंत्रालय की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार, वर्ष 2016 में जहां इस सर्वेक्षण में महज 73 प्रमुख शहरों ने हिस्सा लिया था, वहीं 2021 में हुए स्वच्छ सर्वेक्षण में 4,320 शहरों ने भाग लिया। यह स्वच्छ सर्वेक्षण का छठा संस्करण है, जो दुनिया का सबसे बड़ा शहरी स्वच्छता सर्वेक्षण बन गया है। इस साल के स्वच्छता सर्वेक्षण की सफलता का अनुमान इसी बात से लगाया जा सकता है कि बीते साल जहां लगभग 1.87 करोड़ नागरिकों ने अपना फीडबैक दिया था, वहीं इस बार यह संख्या 5 करोड़ से अधिक है।
कोरोना वायरस संक्रमण महामारी के कारण जमीनी स्तर पर मौजूद कई सुरक्षा चुनौतियों के बावजूद यह सर्वेक्षण रिकॉर्ड 28 दिनों में किया गया है। इस दौरान कई राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के प्रदर्शन में सुधार का जिक्र करते हुए मंत्रालय ने कहा है कि छह राज्यों और छह केंद्र शासित प्रदेशों में जमीनी स्तर पर 5 फीसदी से 25 फीसदी तक समग्र सुधार देखा गया है। साथ ही लगभग 1,500 अतिरिक्त शहरों में गैर-बायोडिग्रेडेबल प्लास्टिक बैग के उपयोग, बिक्री और भंडारण पर प्रतिबंध की अधिसूचना जारी की गई है।