- कोरोना से निपटने में यूपी सरकार की ओर से उठाए गए कदमों की हुई है प्रशंसा
- इस महामारी के साथ जंग में सभी मोर्चों पर सीएम योगी ने मुस्तैदी का दिया है परिचय
- सीएम ने कहा कि राज्य में कोविड-19 की स्थिति नियंत्रण में है, अस्पतालों की बेड क्षमता बढ़ी
लखनऊ : उत्तर प्रदेश में कोरोना महामारी से लड़ने में उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने जो तत्परता और तैयारी दिखाई है, उसकी प्रशंसा हर जगह हो रही है। कोविड-19 से लड़ाई में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की ओर से उठाए गए कदमों का अनुसरण अन्य राज्यों ने किया है। लॉकडाउन के के दौरान 35 लाख से ज्यादा प्रवासी मजूदर अन्य राज्यों से उत्तर प्रदेश लौटे। राज्य में कोरोना के प्रसार को रोकने, अर्थव्यवस्था को गति देने और प्रवासी मजदूरों के लिए रोजगार पैदा करने की चुनौती को मुख्यमंत्री ने एक अवसर के रूप में लिया। कोरोना महामारी संकट के इन छह महीनों के दौरान योगी सरकार ने अपनी कार्यशैली से एक अलग छाप छोड़ी है। चुनौतियों के बीच विकास के लिए जगह बनाने की कोशिश की है। कोरोना संकट और राज्य सरकार की तैयारियों के बारे में मुखय्मंत्री आदित्यनाथ ने हमारे सहयोगी अखबार 'नवभारत टाइम्स' से विस्तार से बातचीत की है।
'कोरोना काल में लौटे लोग अपने हैं'
राज्य में बड़ी संख्या में लौटे प्रवासी मजदूरों के लिए रोजगार उपलब्ध कराना योगी सरकार के लिए एक बड़ी चुनौती थी, इस पर मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना काल में प्रदेश लौटे लोग अपने हैं। उन्हें प्रदेश में रोजगार उपलब्ध कराने के लिए सरकार ने उनके कौशल एवं योग्यता की मैंपिंग की और उनके कौशल के अनुरूप ही रोजगार उपलब्ध कराने के प्रयास हो रहे हैं। मुख्यमंत्री ने बताया कि कुशल, अर्धकुशल, कारखानों एवं उद्योगों के प्रतिनिधियों को साझा मंच देने के लिए एक मोबाइल एप लांच किया गया है। राज्य में 65,000 टेलर और 50,000 ड्राइवर लौटे हैं। ड्राइवर और टेलर दोनों वर्ग के श्रमिकों को बैंक से लोन देने के लिए कहा गया है ताकि वे अपना रोजगार शुरू कर सकें।
सीएम ने कहा कि 35 लाख लोगों को संभालना आसान काम नहीं
यूपी में एक समय ऐसा भी आया जिससे लगा कि यहां कोविड-19 के संक्रमण पर काबू पा लिया गया है लेकिन बाद में स्थिति बदलने लगी। कोविड-19 के केस में इजाफा होने लगा। इस पर मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में करीब 35 लाख लोग लौटे। इतनी बड़ी आबादी को संभालना आसान काम नहीं है। राज्य में कोविड-19 की स्थिति नियंत्रण में है। राज्य में टेस्टिंग बढ़ाए जाने से मामलों में वृद्धि देखने को मिली है। राज्य में इस समय 34 सरकारी प्रयोगशालाओं में कोविड-19 की टेस्टिंग हो रही है। अस्पतालों में बेड क्षमता बढ़ाकर डेढ़ लाख कर दी गई है।
अर्थव्यवस्था एवं निवेश पर रखी बात
मुख्यमंत्री आदित्यनाथ ने अनलॉक, होम आइसोलेशन, भविष्य के अपने एक्शन प्लान, अर्थव्यवस्था और निवेश के बारे में खुलकर अपने विचार रखे। बता दें कि
इस समय प्रदेश में उपचाराधीन मरीजों की कुल संख्या 47,890 है और अब तक 72,650 लोग पूरी तरह ठीक हो कर घर जा चुके हैं। राज्य में कोविड-19 से होने वाली मृत्यु की दर जहां तीन प्रतिशत थी वहीं, उसमें अब काफी सुधार हुआ है और अब यह घटकर 1.68 प्रतिशत हो गई है। उत्तर प्रदेश सरकार ने राज्य में कोरोना के प्रसार पर रोक लगाने के लिए सप्ताहांत के दिनों शनिवार एवं रविवार को पूरे प्रदेश में लॉकडाउन लगा रही है।