- चुनाव प्रचार के आखिरी दिन सोमवार को भाजपा नेता दिलीप घोष पर भवानीपुर में हुआ हमला
- भयमुक्त माहौल एवं निष्पक्ष चुनाव कराए जाने की मांग को लेकर ईसी से मिलेंगे भाजपा के नेता
- बंगाल की चार सीटों पर उप चुनाव की घोषणा हो गई है, इन सीटों पर 30 अक्टूबर को होंगे चुनाव
कोलकाता : भवानीपुर सीट पर उपचुनाव से पहले भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और तृणमूल कांग्रेस के बीच सियासी जंग और तेज हो गई है। चुनाव प्रचार के अंतिम दिन भवानीपुर में दिलीप घोष पर हुए हमले के बाद भाजपा नेता मंगलवार को चुनाव आयोग से मिलने वाले हैं। वहीं, बंगाल की बाकी चार सीटों पर होने वाले उपचुनाव की तारीख की ऐलान हो गया है। इन चार सीटों पर 30 अक्टूबर को वोटिंग होगी और चुनाव नतीजे 2 नवंबर को आएंगे। बताया जा रहा है कि भाजपा नेता भूपेंद्र यादव, मुख्तार अब्बास नकवी, अनुराग ठाकुर, ओम पाठक ईसी के अधिकारियों से मिलेंगे और भवानीपुर में निष्पक्ष एवं भयमुक्त माहौल में चुनाव कराए जाने की मांग करेंगे।
सोमवार को भवानीपुर में हुई हिंसा
चुनाव प्रचार के अंतिम दिन सोमवार को बंगाल भाजपा प्रदेश अध्यक्ष दिलीप घोष भवानीपुर में प्रचार करने पहुंचे थे। यहां घोष को भीड़ ने चारों तरफ से घेर लिया। लोग उन पर आक्रामक होते दिखे। भीड़ से बचाने के लिए घोष की सुरक्षा में तैनात सुरक्षाकर्मियों को अपनी पिस्टल निकालनी पड़ी। इस घटना के चलते भवानीपुर में काफी देर तक तनाव का माहौल बना रहा। वहीं, घोष का आरोप है कि उनके ऊपर टीएमसी कार्यकर्ताओं ने हमला किया। भाजपा नेता ने टीएमसी कार्यकर्ताओं पर महिलाओं पर भी हमला करने का आरोप लगाया।
भवानीपुर सीट पर 30 सितंबर को है उप चुनाव
भाजपा नेता का कहना है कि भवानीपुर में कानून-व्यवस्था की स्थिति खराब हो गई है। टीएमसी के नेता स्थानीय लोगों को डरा रहे हैं, ऐसे में निष्पक्ष चुनाव संभव नहीं है। उन्होंने कहा कि बड़े नेता जब सुरक्षित नहीं हैं तो आम आदमी कैसे सुरक्षित रहेगा। भवानीपुर सीट पर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का मुकाबला भाजपा प्रत्याशी प्रियंका टिबरेवाल से है। ममता के लिए यह सीट जीतना प्रतिष्ठा का विषय है। मुख्यमंत्री बने रहने के लिए उन्हें यह सीट जीतनी होगी। ममता यदि यह सीट हार जाती हैं तो उन्हें सीएम पद पर बने रहने में संवैधानिक संकट पैदा हो जाएगा। वहीं, भाजपा इस सीट पर ममता को हराने के लिए अपना एड़ी-चोटी का जोर लगा रही है।
कोर्ट में भी जारी है सियासी जंग
भाजपा और टीएमसी के बीच सियासी लड़ाई कोर्ट में भी चल रही है। बंगाल में विपक्ष के नेता सुवेंदु अधिकारी मुकुल राय की विधानसभा सदस्यता अयोग्य करार देने के लिए कलकत्ता हाई कोर्ट पहुंचे हैं। बता दें कि बंगाल चुनाव के बाद रॉय भाजपा छोड़कर दोबारा टीएमसी में शामिल हो गए हैं। भाजपा दलबदल कानून के तहत उनके खिलाफ कार्रवाई करना चाहती है।