नई दिल्ली: उत्तर प्रदेश में जबरन धर्म परिवर्तन के पीड़ितों में से एक के परिवार को पाकिस्तान से धमकी भरे फोन आए हैं। मनु यादव के पिता ने आरोप लगाया कि उन्हें उनके बेटे के मोबाइल नंबर पर पाकिस्तान के एक कॉलर ने फोन किया कि वह अपने बेटे को घर छोड़ने की अनुमति दें। मनु को उसके माता-पिता के घर लाया गया जब उसके पिता को सूचना मिली कि उसे मुफ्ती काजी जहांगीर आलम कासमी और मोहम्मद उमर गौतम ने धर्म परिवर्तन कराया है।
TIMES NOW के सिद्धांत से बात करते हुए, पीड़िता के पिता राजीव यादव ने कहा कि उनका बेटा अपने दोस्तों से मिलने की अनुमति के लिए रोता था। बाद में इन धमकियों और मनु यादव की के दबाव के बाद उसके पिता ने अपने बेटे को जाने दिया। तब से मनु लापता है; हालांकि, वह अपनी मां के संपर्क में है। उसने हाल ही में उसे यह कहते हुए फोन किया कि उसे कुछ दिनों में विदेश भेज दिया जाएगा और जिन लोगों ने उसे धर्मान्तरित किया है वे उसे एक व्यवसाय स्थापित करने और दो से तीन साल बाद एक मुस्लिम महिला से उसकी शादी कराने में मदद करेंगे।
1000 गैर मुस्लिमों का धर्म परिवर्तन कराने का दावा
20 से ज्यादा परिवारों ने यूपी एटीएस को बयान दिया है कि दोनों आरोपियों ने उनके बच्चों का धर्म परिवर्तन कराया है। टाइम्स नाउ के पास मौजूद एक वीडियो में मोहम्मद उमर गौतम को शेखी बघारते हुए सुना जा सकता है कि उन्होंने 1000 गैर-मुसलमानों को शादी, पैसे और नौकरी का लालच देकर इस्लाम में परिवर्तित कर दिया। यूपी एटीएस ने दिल्ली के जामिया नगर इलाके से कासमी और गौतम को गिरफ्तार किया था।
योगी सरकार सख्त
इस संबंध में यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने जांच एजेंसियों को गहराई से जांच करने के निर्देश दिए हैं। इसके साथ ही जो लोग इसमें शामिल हैं उनके ऊपर एनएसए यानी राष्ट्रीय सुरक्षा कानून तामील करने के निर्देश दिये हैं। इसके अलावा उनकी जायदाद भी जब्त की जाएगी। आरोपी विशेष रूप से सुनने और बोलने में असमर्थ बच्चों एवं महिलाओं को इस्लाम धर्म में परिवर्तित करा रहे थे। जबरन धर्म परिवर्तन की इन्होंने एक पूरा नेटवर्क एवं व्यवस्था बनाया था। ये लोगों को धर्मपरिवर्तन कराने के लिए अपने जामिया नगर स्थित इस्लामिक दावा सेंटर लेकर जाते थे। लोगों का धर्म परिवर्तित कराने के लिए इन लोगों को विदेशों से फंड उपलब्ध कराया जाता था।