- महाराष्ट्र में कोरोना के केस 18 हजार के करीब, मुबंई में यह संख्या 10 हजार के पार
- उद्धव ठाकरे बोले- मुंबई में सेना तैनाती का आधार नहीं, जरूरत होने पर केंद्रीय बलों की कर सकते हैं तैनाती
- प्रवासी मजदूरों से खास अपील, परेशान न हों राज्य सरकार पूरी कोशिश कर रही है।
नई दिल्ली। पूरे देश में कोरोना संक्रमितों आंकड़ा 56 हजार के पार है। 1800 से ज्यादा लोग काल के गाल में समा चुके हैं और सबसे ज्यादा खराब तस्वीर महाराष्ट्र की है। महाराष्ट्र में कोरोना की कुल संख्या 18 हजार के पार है। इस बीच कहीं से अफवाह उड़ी कि मुंबई में सेना तैनाती की योजना है। महाराष्ट्र में कोरोना के मुद्दे पर उद्धव ठाकरे क्या कहते हैं इसे समझना जरूरी है।
'मुंबई में सेना की तैनाती नहीं'
दरअसल पिछले 2-3 दिन से इस तरह की खबरें आ रही थीं कि मुंबई में सेना की तैनाती की जा सकती है। लेकिन सीएम उद्धव ठाकरे ने कहा कि इसकी जरूरत नहीं है। कोरोना के खिलाफ लड़ाई में जो कदम उठाए जा रहे हैं उसके बारे में वो नागरिकों को बता रहे हैं। अगर सभी लोग अनुशासन का पालन करें तो यही पर्याप्त होगा। सेना बुलाने की जरूरत नहीं है।
'केस बढ़ने के साथ स्वस्थ भी हो रहे हैं मरीज'
महाराष्ट्र में इस समय कोरोना के 18 हजार केस है, जबकि 3250 मरीज स्वस्थ होकर घर जा चुके हैं। यह बात सही है कि पुलिस बल पर अत्यधिक दबाव है। अगर जरूरत होगी तो केंद्र सरकार से केंद्रीय पुलिस बल की मांग की जाएगी ताकि पुलिस बल को कुछ आराम मिल सके। लेकिन इसका अर्थ यह नहीं है आर्मी को बुलाया जाएगा। केंद्रीय बलों की तैनाती जरूरत पर निर्भर करेगी।
प्रवासी मजदूरों से खास अपील
सीएम उद्धव ठाकरे ने कहा कि वो प्रवासी मजदूरों से खास अपील करते हैं कि राज्य के जिस हिस्से में भी हैं वही रहें। राज्य सरकार की तरफ से उनके खाने और रहने का इंतजाम किया जा रहा है। किसी तरह की अफवाहों में न आए। अगर वो अपने राज्य जाना चाहते हैं तो उसकी व्यवस्था की जा रही है। धैर्य के साथ इंतजार करें। महाराष्ट्र में उन्हें किसी तरह की कमी नहीं महसूस होगी। आज सुबह की घटनाने मुझे बहुत दुःख दिया है
- संभाजीनगर से ट्रेन छूटेगी ऐसी खबर सुनकर भुसावल जाने वाले 20 मजदूरों का एक दल संभाजीनगर रेलवे स्टेशन की तरफ जा रहा था और थकान से ट्रैक पर ही सो गए--और मालगाड़ी से दुर्घटना का शिकार हो गए
- ये घटना मुझे अंदर से काफी द्रवित कर रही है,दुखी कर रही है
- मुम्बई में भी अफवाह है कि मुम्बई में आर्मी आ रही है,पूरी मुम्बई आर्मी के ताबे में दे दी जाएगी,ये बात बिल्कुल गलत है-कोई ऐसी अफवाह पर ध्यान न दे,मुम्बई पुलिस सक्षम है |
- मुम्बई पुलिस की क्षमता को ध्यान में रखते हुए अगर हमे जरूरत लगी तो केंद्र सरकार से अतिरिक्त पुलिस फोर्स को मंगाया जाएगा-जिसकी जानकारी जनता को दे दी जाएगी-
- मुम्बई पुलिस को भी आराम देने की जरूरत है,दिन रात काम कर रही है पुलिस-आगे ऐसा कोई निर्णय लिया तो जनता को सूचित किया जाएगा
- अभी तक वायरस के चैन को तोड़ने में यश नही मिला है,वायरस का प्रसार लगातार जारी है,अब इसको तोड़ने की जरूरत है,हम सब को मिलकर तोड़ना है
- अब विदेश से हमारे नागरिक,दूसरे राज्यो के हमारे विद्यार्थी मुम्बई-महाराष्ट्र आएंगे-उनके भी टेस्ट करने की जरूरत होगी,लेकिन मुम्बई वालो के टेस्ट में कोई कमी नही आएगी
- जो मृत्यु दर बढ़ रहे है उसमें कई केस ऐसे है जो लास्ट स्टेज पर आये केसेस है,कई केसेस तो एडमिट होते ही दम तोड़ दिए।महाराष्ट्र में अब तक 3400 मरीज पूरी तरह ठीक हुए है इसका हमे ध्यान देना है-हमे डरना नही है,लड़ना है
- सभी मजदूरों को उनके राज्य जो जाना चाहते है उनको भेजा जाएगा कोई डरे नही-कोई घबराये नही
- लॉक डाउन बढ़ाना है कि नही ये आप के हाथ में है
- जितना आप बंधन तोड़ने की कोशिश करोगे उतना ही ये लॉक डाउन आपका पीछा नही छोड़ेगा घर बैठना किसी को अच्छा नही लगता लेकिन ये संकट है,संकट को खत्म करने के लिए हमे नियम का पालन करना ही होगा
ये शिवाजी महाराज का महाराष्ट्र है,हम सबको मिलकर कोरोना वायरस से लड़ना होगा एक हिदायत देता हूं-कोई पुलिस,डॉक्टर या कोरोना वारियर्सपर हमला न करे वरना कड़ी कार्यवाही की जाएगी मेरी अपील है को महालक्ष्मी रेसकोर्स,बीकेसी,दादर,गोरेगांव और मुम्बई के ओपन ग्राउंड और एक्ससीबीशन सेंटर्स पर जो कोरोना कवारेंटिंन सेंटर बने है उसके लिए होमियोपैथिक,एलोपेथिक,आयुर्वेदिक डॉक्टर्स सामने आकर महाराष्ट्र सरकार को जरूरत पड़ने पर मरीजो की सहायता करें, ये दुख की घड़ी है हम सब को मिलकर लड़ना होगा।