नई दिल्ली: कोरोना वायरस से बिगड़ी अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए मोदी सरकार ने आत्मनिर्भर भारत 3.0 के तहत गुरुवार (12 नवंबर) को कुल 2,65,080 करोड़ रुपए के आर्थिक राहत पैकेज की घोषणा की। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने घोषित प्रोत्साहन पैकेज के तहत किसानों को 65,000 करोड़ रुपए की फर्टिलाइजर सब्सिडी देने का ऐलान किया। उन्होंने कहा कि किसानों को आगामी फसल सत्र के दौरान उर्वरकों की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित करने 65,000 करोड़ रुपए दिए जा रहे हैं।
उन्होंने कहा कि चालू वित्त वर्ष में प्रधानमंत्री गरीब कल्याण रोजगार योजना के लिए 10,000 करोड़ रुपए का अतिरिक्त प्रावधान किया गया है, जिससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था को गति मिलेगी। सीतारमण ने आगे कहा कि लोन सहायता के जरिए निर्यात को बढ़ावा देने के लिए एक्जिम बैंक को 3,000 करोड़ रुपए दिए जाएंगे।
वित्त मंत्री ने कहा कि किसान क्रेडिट कार्ड (केसीसी) के माध्यम से 2.5 करोड़ किसानों को लोन प्रोत्साहन मिला है। इसी तरह प्रधानमंत्री मातृ संपदा योजना (पीएमएमएसवाई) के तहत 21 राज्यों के 1,682.32 करोड़ रुपए के प्रस्तावों को मंजूरी दी गई।
उन्होंने आगे बताया कि रेहड़ी दुकानदारों के लिए आत्मनिर्भर फंड के तहत 26.62 लाख लोन आवेदन मिले, जिनमें से 13.78 लाख लोगों को कुल 1,373.33 करोड़ रुपए का लोन स्वीकृत किया गया है।
सीतारमण ने आत्मनिर्भर भारत अभियान के तहत घोषित पिछले प्रोत्साहनों की प्रगति का ब्यौरा देते हुए कहा कि एक सितंबर से 28 राज्य और केंद्र शासित प्रदेश वन नेशन वन राशन कार्ड योजना के तहत आ गए हैं। इसके तहत 68.6 करोड़ लाभार्थी शामिल हैं, जो इन 28 राज्यों या केंद्र शासित प्रदेशों में किसी भी पीडीएस दुकान से खाद्यान्न ले सकते हैं।
इसके अलावे वित्त मंत्री ने कहा कि लंबे और कड़े लॉकडाउन के बाद भारतीय अर्थव्यवस्था की हालत में जोरदार सुधार देखने को मिल रहा है। सीतारमण कहा कि देश में कोरोना वायरस के सक्रिय मामले एक समय 10 लाख से अधिक थे, जबकि अब ये मामले घटकर 4.89 लाख रह गए हैं और मृत्यु दर घटकर 1.47 प्रतिशत पर आ गई है। भारतीय रिजर्व बैंक ने चालू वित्त वर्ष की तीसरी तिमाही में आर्थिक वृद्धि दर के सकारात्मक दिशा में लौटने का अनुमान जताया है।
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