नई दिल्ली: भारतीय जनता पार्टी ने 2022 के उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों में सत्ता बरकरार रखी, लेकिन पिछले चुनावों की तुलना में सीटों की संख्या में गिरावट देखी गई, साथ ही कई शीर्ष नेताओं को हार का सामना करना पड़ा।सबसे ज्यादा नुकसान उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य को हुआ, जो सिराथू में समाजवादी पार्टी की पल्लवी पटेल से 7,337 मतों के अंतर से हार गए।
खेल मंत्री उपेंद्र तिवारी फेफना निर्वाचन क्षेत्र से समाजवादी पार्टी के संग्राम सिंह से 19,354 मतों के अंतर से हार गए।कैबिनेट मंत्री राजेंद्र प्रताप सिंह, जिन्हें मोती सिंह के नाम से जाना जाता है, पट्टी सीट से समाजवादी पार्टी के राम सिंह से 22,051 मतों के अंतर से हार गए।
भाजपा सरकार में कबीना मंत्री रहे राजेंद्र प्रताप सिंह मोती सिंह पट्टी विधानसभा से चुनाव हारे हैं, सपा प्रत्याशी राम सिंह पटेल ने उन्हें हराया इसी तरह भाजपा के कब्जे में रही रानीगंज सीट सपा ने छीन ली।
थाना भवन विधानसभा में गन्ना मंत्री सुरेश कुमार राणा को राष्ट्रीय लोक दल के अशरफ अली खान ने 10,806 मतों के अंतर से हराया। थाना भवन सीट शामली जिले में आती है, यूपी में कई बहुचर्चित सीटों में एक थाना भवन का भी नाम है।
वहीं इटवा में शिक्षा मंत्री सतीश चंद्र समाजवादी पार्टी के माता प्रसाद पांडेय से 1,662 मतों से हार गए।सतीश चंद्र इटवा विधानसभा से वह चुनाव लड़े थे उन्हें सपा प्रत्याशी व पूर्व विधान सभा अध्यक्ष माता प्रसाद पांडेय के हाथों शिकस्त का सामना करना पड़ा।