नई दिल्ली: देश में जारी लॉकडाउन के बीच ईद-उल-फितर का चांद देश के विभिन्न हिस्सों में रविवार को नजर आने के बाद आज सोमवार को देश में ईद उल-फितर (Eid al-Fitr) मनाई जा रही है वहीं कोरोना वायरस के प्रसार पर नियंत्रण के लिए देश में लॉकडाउन लागू हैं और मस्जिदों समेत तमाम धार्मिक स्थल बंद हैं।
कोरोना वायरस लॉकडाउन के चलते इस बार ईद की पूर्व संध्या पर लोग अपने घरों में रहने को प्राथमिकता दी लिहाजा रविवार को बाजारों में रौनक गायब रही और दुकानों में भी कम लोग दिखे, पुरानी दिल्ली के इलाके जो हर बार रमजान में खरीदारी करने वालों से गुलजार रहते थे,इस बार सूने पड़े रहे।
मुस्लिम धर्मगुरुओं ने लोगों से घर पर ही ईद की नमाज अदा करने की सलाह (Salah) दी है और लोगों से सोशल डिस्टेंसिंग के नियमों का पालन करने की भी अपील की है। फतेहपुरी मस्जिद के शाही इमाम मुफ्ती मुकर्रम अहमद ने कहा,'हमने लोगों से एक-दूसरे को गले लगाने और हाथ मिलाने से बचने के लिए कहा है।'
वहीं जामा मस्जिद के शाही इमाम सैयद अहमद बुखारी ने लोगों से सादगी से ईद मनाने और गरीब लोगों तथा अपने पड़ोसियों की मदद करने की अपील की। उन्होंने कहा, 'कोरोना वायरस के कारण ईद की नमाज पारंपरिक तौर पर अदा नहीं की जा सकेगी, लेकिन लोगों समझना चाहिये कि केवल सावधानी बरतने से ही वायरस को हराया जा सकता है।'
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने नागरिकों से कहा कि समाज के सबसे कमजोर वर्ग के साथ चीजें साझा करने और उनकी देखभाल करने के विश्वास को और मजबूत करें। ईद-उल-फितर की पूर्व संध्या पर नागरिकों के लिये अपने संदेश में उन्होंने लोगों से कहा कि सामाजिक दूरी के नियम का पालन करने का संकल्प लें और कोरोना वायरस की चुनौती से जल्द पार पाने व सुरक्षित रहने के लिए अन्य सभी एहतियात बरतें।
कोविंद ने कहा, 'यह त्योहार प्रेम, शांति, भाईचारे और सद्भाव की अभिव्यक्ति का है। इस मौके पर हम समाज के सबसे कमजोर वर्गों के साथ चीजों को साझा करने और उनकी देखभाल में अपने विश्वास की पुष्टि करते हैं।' उन्होंने कहा, 'ऐसे समय में जब हम कोविड-19 महामारी के कारण अभूतपूर्व स्थिति का सामना कर रहे हैं तो आइये देने (जकात) की अपनी भावना को व्यापक रूप से अपनाएं। आइये यह संकल्प लें कि सामाजिक दूरी का पालन करेंगे और इस महामारी की चुनौती से जल्द उबरने के लिए सभी दूसरे एहतियातों को बरतेंगे।'
इस बार की ईद कुछ अलग होगी क्योंकि कोरोना वायरस महामारी के चलते लॉकडाउन लागू है,मुस्लिम धर्मगुरूओं ने अपील की है कि लोग ईद घर पर ही रहकर मनायें। लखनऊ के मुस्लिम धर्मगुरू मौलाना खालिद राशिद फरंगी महली नेकहा कि उन्होंने हर किसी से कहा है कि ईद की नमाज घर पर ही पढ़ें।
ईद घर पर मनायें, केवल मस्जिद में रहने वाले चार-पांच लोग ही वहां नमाज पढ़ेंगे।लोगों को सोशल मीडिया के जरिए ईद की मुबारकबाद दीजिए। हाथ मत मिलाइये, गले मत मिलिये। इसके अलावा आपका ईद का जो बजट है, उसका 50 प्रतिशत गरीबों में बांट दीजिए।
प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने ईद उल-फितर के मौके पर प्रदेशवासियों को बधाई दी है।राजभवन की ओर से जारी बयान के अनुसार राज्यपाल ने अपने बधाई सन्देश में सभी लोगों की सुख-समृद्धि की कामना करते हुए कहा कि ईद का पर्व मोहब्बत, एकता और आपसी भाईचारे का संदेश देता है।उन्होंने कहा कि खुशियाँ बांटने से बढ़ती हैं। गरीब एवं जरूरतमंद लोगों की मदद कर उनके जीवन में भी खुशियाँ लायें।राज्यपाल ने कहा कि कोरोना संक्रमण को देखते हुए घर में ही नमाज पढ़ें तथा आवश्यक एहतियात बरतें।
ईद के पर्व पर राजस्थान के राज्यपाल, मुख्यमंत्री और विधानसभा अध्यक्ष ने प्रदेश के लोगों को शुभकामनाएं दी हैं। इसके साथ ही मुस्लिम समुदाय के धार्मिक गुरूओं ने समुदाय के लोगों से सोमवार को ईद के पर्व पर घर में रहने और किसी भी धार्मिक या सामाजिक सभा से बचने की अपील की है।राज्यपाल कलराज मिश्र और विधानसभा अध्यक्ष सीपी जोशी ने ईद-उल-फितर के मुबारक मौके पर प्रदेशवासियों को बधाई और शुभकामनाएं दी हैं।
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने प्रदेशवासियों को ईद-उल-फितर की मुबारकबाद देते हुए लोगों से कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए लॉकडाउन का पालन, सामाजिक दूरियां बनाये रखने और अपने घर पर ही ईद की नमाज़ अदा करने की अपील की है।उन्होंने मुस्लिमों से अपील की कि कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए लॉकडाउन का पालन करें, भौतिक दूरी रखें और अपने घर पर ही ईद की नमाज़ अदा करें।
कोविड-19 लॉकडाउन के बीच मध्य प्रदेश में सोमवार को ईद-उल-फितर पर नमाजी घर से ही नमाज अदा करेंगे और ईद की बधाई देने मुस्लिम समाज अपने घर से बाहर नहीं निकलेगा।प्रदेश के विभिन्न जिलों में हुई मुस्लिम प्रतिनिधियों की बैठकों में सर्वसम्मति से यह निर्णय लिया गया है।भोपाल शहर काजी मुश्ताक अली नदवी ने कहा, 'मैंने वीडियो संदेश जारी कर अपने समुदाय के लोगों से अपील की है कि वे अपने-अपने घरों में ही ईद की नमाज अदा करें और अपने एवं अन्य लोगों की सुरक्षा के लिए गले मिलने एवं हाथ मिलाने की प्रथा से भी बचें।'
देश में कोविड-19 के प्रसार का बड़ा केंद्र बने इंदौर जिले में पिछले दो महीने से लागू लॉकडाउन के चलते पूरे रमजान महीने में बाजार वीरान रहे। अब ईद-उल-फितर का उल्लास भी घरों में सिमट गया है।
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने राज्य के लोगों को ईद-उल- फितर की बधाई दी है।एक आधिकारिक बयान में कहा गया है कि भारत एक महान राष्ट्र है, जहां विभिन्न धर्मों के लोगों के बीच परस्पर सम्मान अनुकरणीय है।उन्होंने कहा, 'मैं सभी लोगों को, विशेष रूप से मुस्लिम भाइयों और बहनों को ईद की शुभकामनाएं देता हूं। ईद भाईचारे, प्रेम, शांति और सांप्रदायिक सद्भाव का प्रतीक है।
हम सभी को समाज, राज्य और देश को आगे ले जाने के लिए कड़ी मेहनत करनी चाहिए।'उन्होंने लोगों से सामाजिक मेल-जोल से दूरी का पालन करते हुए घरों पर रहकर ही ईद मनाने की अपील की।
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