- RIL ने अमेरिकी डॉलर के बांड की बिक्री से 30,000 करोड़ रुपये जुटाए।
- रिलायंस रिटेल ने 1,488 करोड़ रुपये में Dunzo में 25.8 फीसदी हिस्सेदारी खरीदी।
- ऑनलाइन किराना डिलीवरी व्यवसाय में उपस्थिति के विस्तार के लिए कंपनी ने निवेश किया।
नई दिल्ली। रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड (RIL) ने गुरुवार को एक्सचेंजों को जानकारी दी कि उसने तीन चरणों में अमेरिकी डॉलर के बांड की बिक्री से 4 अरब डॉलर या 30,000 करोड़ रुपये जुटाए हैं। आरआईएल ने एक बयान में कहा कि यह किसी भारतीय कंपनी द्वारा विदेशी मुद्रा बांड की अब तक की सबसे बड़ी बिक्री है।
इसके साथ ही रिलायंस रिटेल ने 200 मिलियन डॉलर (लगभग 1,488 करोड़ रुपये) में भारत के प्रमुख ई-कॉमर्स कंपनी डंजो (Dunzo) में 25.8 फीसदी हिस्सेदारी खरीदी है। ऑनलाइन किराना डिलीवरी व्यवसाय में अपनी उपस्थिति का विस्तार करने के लिए रिलायंस रिटेल ने यह निवेश किया।
Dunzo ने कहा कि पूंजी का उपयोग देश में सबसे बड़ा त्वरित वाणिज्य व्यवसाय होने के लिए डंज़ो के दृष्टिकोण को आगे बढ़ाने के लिए किया जाएगा, जिससे सूक्ष्म गोदामों के नेटवर्क से आवश्यक वस्तुओं की तत्काल डिलीवरी हो सके, जबकि भारतीय शहरों में स्थानीय व्यापारियों के लिए रसद को सक्षम करने के लिए अपने बी 2 बी व्यवसाय का विस्तार भी किया जा सके।" डंजो ने एक प्रेस विज्ञप्ति में कहा। मौजूदा निवेशकों Lightbox, Ligthrock, 3L Capital और Alteria Capital ने भी फंडिंग राउंड में भाग लिया।
इस काम के लिए होगा राशि का इस्तेमाल
अमेरिकी डॉलर के बांड की बिक्री से जुटाई गई राशि का इस्तेमाल मुख्य रूप से मौजूदा उधार के रिफाइनेंसिंग के लिए किया जाएगा, जिसमें 1.5 बिलियन डॉलर का ऋण भी शामिल है जो फरवरी में परिपक्व होने वाला है। ऑयल-टू-टेलीकॉम समूह ने 10 साल के इश्यू में 2.875 फीसदी की ब्याज दर पर 1.5 बिलियन डॉलर जुटाए, 30 साल के सौदे में 3.625 फीसदी पर 1.75 बिलियन डॉलर और 40 साल के इश्यू में 3.75 फीसदी पर 750 मिलियन डॉलर जुटाए गए। इसकी भुगतान अवधि साल 2032 से 2062 के बीच है।
यह पहली बार है जब जापान के बाहर किसी BBB- रेटेड एशियाई कंपनी ने 40 साल के डॉलर का बांड जारी किया है। आरआईएल के संयुक्त मुख्य वित्तीय अधिकारी Srikanth Venkatachari ने कहा की, 'हम अपने बहु-किश्त वाले दीर्घकालिक यूएसडी बांड जारी करने के मजबूत परिणाम से बेहद खुश हैं, जिसने 4 बिलियन अमेरिकी डॉलर का सबसे बड़ा ऋण कैपिटल मार्केट ट्रांजेक्शन जारी किया है।
मालूम हो कि रिलायंस इंडस्ट्रीज के बांड को साख निर्धारण करने वाली एजेंसी S&P ने बीबीबी प्लस और Moody's ने बीएए 2 रेटिंग दी थी। बांड के लिए एशिया, यूरोप और अमेरिका से आर्डर मिले।