- धोनी-कार्तिक ने 2004 में अंतरराष्ट्रीय करियर शुरू किया
- धोनी भारतीय टीम में टिककर खेले और कप्तान की
- विकेटकीपर कार्तिक टीम से अंदर और बाहर होते रहे
एमएस धोनी के टीम इंडिया में आने से पहले कई विकेटकीपर बल्लेबाजों को आजमाया गया था, जो अलग-अलग कारणों से अपनी जगह पक्की नहीं कर सके। कुछ ने अच्छी बल्लेबाजी की तो कुछ विकेटकीपिंग में बेहतर थे। धोनी के आने के बाद ही भारतीय टीम की यह परेशानी हल हो पाई थी। हालांकि, धोनी और कार्तिक में विकेटकीपर होने के चलते काफी प्रतिस्पर्धा रही। पूर्व भारतीय बल्लेबाज आकाशन चोपड़ा ने दोनों खिलाड़ियों से जुड़ा एक दिलचस्प खुलासा किया है। उन्होंने बताया कि धोनी ने कैसे मना करने के बावजूद कार्तिक के खिलाफ नेट्स में गेंदबाजी की थी।
'कार्तिक को गेंदबाजी मत करो धोनी'
आकाश चोपड़ा ने अपने यूट्यूब चैनल पर बातचीत के दौरान दिनेश कार्तिक से कहा, 'मैं आपको 2004 के केन्या और जिम्बाब्वे के दौरे पर ले जाना चाहता हूं। एमएस धोनी भी उस दौरे का हिस्सा थे। मुझे स्पष्ट रूप से याद है कि धोनी ने आपको (कार्तिक) नेट्स में गेंदबाजी की थी। धोनी मेरे रूममेट थे तो मैंने उनसे कि कार्तिक को गेंदबाजी मत करो, क्योकिं वह तुम्हारा प्रतिस्पर्धी है। अगर आप गेंदबाजी करना चाहते हैं तो कम से कम बल्लेबाजी करो। आप क्या कर रहे हो? वह (कार्तिक) भारत के लिए खेलेगा। वह लगभग वहां पहुंच चुका है। कभी-कभी आपको भी खेलने की जरूरत होती है। लेकिन धोनी ने कहा कि नहीं, नहीं, मैं गेंदबाजी करना चाहता हूं।'
'अगर आप एक अच्छे कीपर हैं तो...'
वहीं, कार्तिक ने कहा, 'जब धोनी ने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में कदम रखा तो वह पूरे देश में जबरदस्त तरीके से छा गए। मुझे पता था कि बाकी विकेटकीपर बल्लेबाजी के लिए दरवाजा बंद हो चुका है। दरअसल, कीपर-बल्लेबाज हमेशा एक दशक लंबा काम होता है। पहले सैयद किरमानी थे और फिर किरण मोरे आए। धोनी जैसे क्रिकेटर एक पीढ़ी में निकलते हैं। इयान हेली या एडम गिलक्रिस्ट को ही देख लीजिए, अगर आप एक अच्छे कीपर हैं तो आप 10-12 साल टीम में टिके रहेंगे।' बता दें कि कार्तिक ने भारत के लिए 26 टेस्ट, 94 वनडे और 32 टी20 अंतरराष्ट्रीय मैच खेले हैं। वहीं, धोनी ने 90 टेस्ट, 395 वनडे और 98 टी20 अंतरराष्ट्रीय मुकाबले खेले। दोनों ने साल 2004 में इंटरनेशनल करियर शुरू किया।